21 दिसंबर 2025,

रविवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

फिरोजाबाद के चूड़ी कारखानों के बुरे दिन, श्रमिकों ने न्यूनतम मजदूरी को लेकर कर दी हड़ताल

— कोरोना संकट के बाद फिरोजाबाद के चूड़ी कारखानों में नहीं हो पा रहा काम।

less than 1 minute read
Google source verification
Bangle Factory

फिरोजाबाद का चूड़ी कारखाना जिसमें काम बंद है।

पत्रिका न्यूज नेटवर्क
फिरोजाबाद। सुहाग की निशानी कहे जाने वाले शहर फिरोजाबाद में चूड़ी उद्योग के अभी बुरे दिन चल रहे हैं। न्यूनतम मजदूरी न मिलने को लेकर मजदूरों ने कारखानों में हड़ताल कर दी है। इसके चलते चूड़ी कारोबार प्रभावित हो रहा है। मजदूरों ने उनकी मांग पूरी न होने तक अनिश्चित कालीन समय तक हड़ताल करने की चेतावनी दी है।
यह भी पढ़ें—

यमुना किनारे बकरी चराने गए एक बालक और दो बालिकाओं की डूबने से मौत, गांव में मातम


यहां बनती हैं रंग बिरंगी चूड़ियां
फिरोजाबाद एक मात्र ऐसा शहर है जो रंग बिरंगी कांच की चूड़ियां बनाई जाती है। चूड़ी बनाने के लिए जिले भर में करीब सौ से अधिक कारखाने हैं। इनमें लाखों मजदूर काम करते हैं। बड़े स्तर पर होने वाली मजदूरी को लेकर सरकार ने यहां न्यूनतम मजदूरी तय की थी। इसके लिए सरकार ने 3000 रुपए 100 जोड़ों की जुड़ाई के लिए धनराशि तय की थी। मजदूरों का कहना है कि अभी भी उन्हें सरकार द्वारा तय धनराशि नहीं दी जा रही है। अभी उन्हें 2400 रुपए 100 तोड़ा के हिसाब से मजदूरी मिल रही है।
यह भी पढ़ें—

फिरोजाबाद में बिछड़ों को मुस्कान दिलाएगा पुलिस का 'आॅपरेशन तलाश'

कोरोना के बाद अभी शुरू हुए थे कारखाने
कोरोना की दूसरी लहर के कारण चूड़ी उद्योग गति नहीं पकड़ सका था। कुछ दिन पहले ही कारखानों में चूड़ी बनाने का काम शुरू किया गया था लेकिन अब मजदूरों ने न्यूनतम मजदूरी को लेकर हड़ताल कर दी। अभी शहर के अधिकांश चूड़ी कारखाने बंद पड़े हैं। यहां तैयार होने वाली चूड़ियां यूपी के अलावा राजस्थान, महाराष्ट्र, बैंगलुरू, तमिलनाडु, बिहार, उड़ीसा, मध्य प्रदेश, गुजरात समेत अन्य राज्यों में जाती हैं।