डिस्काउंट के साथ कई ऑफर देने के बाद भी होटलों में बुकिंग 50 प्रतिशत से भी कम है। घाटे व प्रतिबंधों के कारण इवेंट कंपनियों ने भी हाथ खींच रखे हैं। एक अनुमान के मुताबिक, होटलों में 85 फीसदी तक बुकिंग ठप है। सितंबर तक होटल इंडस्ट्री का रेवेन्यू 53 फीसदी तक गिरा है।
राजस्थान: 40 प्रतिशत से भी कम होटल बुकिंग
जयपुर, बीकानेर, जैसलमेर, जोधपुर, माउंटआबू, उदयपुर, सवाई माधोपुर में देश-दुनिया से सैलानी नव वर्ष मनाने आते थे। इस बार वह रौनक नहीं है। – 12,000 से ज्यादा छोटे-बड़े होटल
– 5,000 करोड़ से ज्यादा का बिजनेस क्रिसमस से नव वर्ष तक – 50 हजार लोग हर साल अन्य राज्यों से आते थे न्यू ईयर मनाने मध्यप्रदेश: 80 प्रतिशत तक कारोबार में कमी
राज्य के बाहर सबसे पसंदीदा स्थान कश्मीर और शिमला है। लेकिन इस बार लोग घर में ही नए साल का स्वागत करेंगे।
– 5000 करोड़ का कारोबार क्रिसमस से नववर्ष तक होता – 60 प्रतिशत की कमी होटल बुकिंग में – 15-20 फीसदी लोग बाहर जाएंगे नववर्ष मनाने के लिए छत्तीसगढ़: 15 फीसदी पर सिमटा कारोबार
यहां के लोग ज्यादातर हिमाचल, राजस्थान, जम्मू-कश्मीर जाते हैं। वहां जाने की बजाय राज्य के टूरिस्ट स्पॉट व नेशनल पार्क में तादाद बढ़ी है।
– 70 से 80 करोड़ का कारोबार होटल-टूरिज्म इंडस्ट्रीज का – 15 प्रतिशत कारोबार की उम्मीद – 2.5-3 लाख लोग जाते थे मनाने, इस बार 20-25 हजार की उम्मीद होटल एंड रेस्टोरेंट मार्केट का हाल
– 4.25 लाख करोड़ रुपए का है रेस्टोरेंट मार्केट का साइज देश में – 1.61 लाख करोड़ रुपए है होटल का मार्केट साइज पूरे देश में – 33 प्रतिशत से अधिक रेस्टोरेंट व बार स्थायी रूप से बंद हो हुए।
– 60 प्रतिशत रेस्टोरेंट मार्केट असंगठित जश्न में पड़ा खलल टूरिस्ट प्लेस वाले अधिकांश शहरों में नाइट कर्फ्यू व कड़े प्रतिबंध लागू हैं। वहां पर होटल बुकिंग व पर्यटन से जुड़ी गतिविधियों का कारोबार बमुश्किल 20-25त्न है। हालांकि कर्नाटक, पंजाब ने राहत दी है। कर्नाटक में रात्रिकालीन क र्यू का आदेश राज्य सरकार ने वापस ले लिया है। महाराष्ट्र में रात 11 बजे तक ही छूट है।