
लॉकडाउन से फायदे में धरती
नई दिल्ली। दुनियाभर में कोरोना वायरस ( coronavirus ) का असर तेजी से फैलता जा रहा है। देश में भी कोविड-19 ( COVID-19 ) लगातार अपने पैर पसार रहा है। यही वजह है कि हर कोई इस जानलेवा वायरस से निपटने के लिए कड़े कदम उठा रहा है। अब तक इस वायरस से बचाव में जो सबसे बड़ा हथियार है वो है लॉकडाउन जी हां लॉकडाउन की वजह से ही दुनियाभर में कोरोना को कंट्रोल करने में मदद मिली है।
लॉकडाउन ( Lock Down ) का फायदा हमें जिंदगी बचाने में तो मिल रही रहा है, लेकिन इस लॉकडाउन ने देश की धरती को भी चार बड़े फायदे दिए हैं माना जा रहा है कि लॉकडाउन की अवधि बढ़ती है तो धरती को चार बड़े फायदे होंगे।
धरती के लिए लॉकाडउन वरदान की तरह साबित हो रहा है। मानव की गतिविधियों के बंद होने से इस दौरान धरती खुद में सुधार कर रही है।
पर्यावरण प्रेमी भी चाहते हैं कि लॉकाडउन बढ़ेगा तो धरती को बड़ा फायदा होगा। आईए आपको धरती को होने चार बड़े फायदों से रूबरू करवाते हैं।
1. ओजोन परत में सुधार : लॉकडाउन ने धरती के रक्षाकवच कहे जाने वाले ओजोन परत में सकारात्मक बदलाव ला दिया है। दरअसल ओजोन परत को सबसे ज्यादा नुकसान अंटार्कटिका के ऊपर हो रहा था वैज्ञानिकों ने पाया है कि इस परत में अब उल्लेखनीय सुधार आ रहा है। आपको बता दें कि ब्रिटेन की प्रमुख वैज्ञानिक मैगजीन नेचर में प्रकाशित ताजा शोध के मुताबिक जो केमिकल ओजोन परत के नुकसान के लिए जिम्मेदार हैं, उनके उत्सर्जन में कमी होने के कारण यह सुधार हो रहा है।
2. 30-50 फीसदी कम हुआ कंपन
कोरोना काल के बीच ज्यादातर देशों में या तो लॉकडाउन है या फिर लोगों को घरों से बाहर नहीं निकलने के आदेश हैं। ऐसे में करीब चार अरब की आबादी वाली आधी दुनिया घरों में बंद है। इस लॉकडाउन ने परिवहन से लेकर उद्योग धंधों की रफ्तार पर भी ब्रेक लगा दिया है।
खास बात यह है कि इन सबकी वजह से धरती का कंपन 30 फीसदी कम हुआ है। जानकारों की मानें तो आगे भी लॉकडाउन बढ़ने से ये कंपना 50 फीसदी तक कम होने की उम्मीद है। तमाम तरह की मानवीय गतिविधियों के चलते धरती कंपकंपाती रहती थी, अब इस कंपन में कमी के बाद भूकंप की वास्तविक स्थिति का पता लगाने में भी मदद मिल रही है।
3. प्रदूषण में कमी
लॉकडाउन की वजह से धरती पर प्रदूषण में भी जबरदस्त कमी देखने को मिली है। गाड़ियों से निकलने वाले धुएं बंद हैं, फैक्ट्रियों से निकलने वाला धुआं बंद, वर्क फ्रॉम होम होने के बाद ऑफिस में लगे भारी संख्या में एसी बंद हैं, जिसका साफ असर हवा और हमारे पर्यावरण पर दिख रहा है।
अधिकांस जगहों पर हवा पूरी तरह से साफ हो गई है। सेंटर फॉर साइंस एंड एनवायरनमेंट के प्रदूषण को लेकर रोजाना विश्लेषण में सामने आया कि लॉकडाउन की वजह से अब तक दिल्ली, मुंबई, कोलकाता और बैंगलूरु की हवा में प्रदूषण का स्तर कुछ कम हुआ है। जानकारी के लिए बता दें सिर्फ भारत में हर वर्ष प्रदूषण की वजह से 12 लाख लोग दम तोड़ते हैं।
4. नदियों की सफाई: लॉकडाउन ने नदियों में बढ़ प्रदूषण पर भी काफी हद तक रोक लगा दी है। जानकारों की मानें तो लॉकडाउन के इसी तरह आगे बढ़ने से नदियों का जल भी काफी साफ हो जाएगा। नदी के तटों पर मानव गतिविधियां भी बंद होने के कारण गंगा, यमुना नदी का जल स्वच्छ हो रहा है।
गंगा और यमुना के जल में कई जगहों पर 40 से 50 फीसद का सुधार दिख रहा है। इसमें घुलित ऑक्सीजन 6 से 7 प्रति लीटर मिलीग्राम से बढ़कर 9 -10 तक पहुंच गया है। जो काम सरकारें दशकों में न कर पाईं वह 21 दिन के लॉकडाउन ने कर दिया। दो हफ्ते और बढ़ने पर ये स्तर और भी बेहतर होगा।
Published on:
12 Apr 2020 04:13 pm
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