
नई दिल्ली। जम्मू एवं कश्मीर का दौरा करने वाले यूरोपीय संघ (ईयू) के सांसदों के एक प्रतिनिधिमंडल ने राज्य में आतंक को खत्म करने और वहां शांति बहाल करने के लिए भारत के प्रयासों का समर्थन किया है। श्रीनगर में अपने दौरे के अंत में मीडिया से बातचीत में प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि हम अंतर्राष्ट्रीय प्रतिनिधिमंडल पूरी तरह से राज्य में आतंक को खत्म करने और शांति बहाल करने के लिए भारत के प्रयासों का समर्थन करते हैं।
भारत के रुख का समर्थन करते हुए, प्रतिनिधिमंडल ने माना कि कश्मीर में समस्या आतंकवाद से जुड़ी है। अनुच्छेद 370 को रद्द किए जाने और जम्मू एवं कश्मीर से विशेष राज्य का दर्जा वापस लिए जाने के बाद पहली बार किसी अंतर्राष्ट्रीय प्रतिनिधिमंडल ने घाटी का दौरा किया।
प्रतिनिधिमंडल के एक सदस्य ने कहा, "कश्मीर में आतंकवाद केवल भारत की समस्या नहीं है। मुझे लगता है कि यह अंतर्राष्ट्रीय समुदाय की भी समस्या है। हम सबसे अच्छा समाधान खोजने के लिए भारत का समर्थन करते हैं।
स्थानीय लोगों से बातचीत के सवाल में ईयू के सांसदों ने कहा कि स्थानीय लोगों ने हमें बताया कि वे भारतीय नागरिक हैं और हम सभी भारतीय नागरिकों की तरह भारतीय बनना चाहते हैं। हम देश के अन्य क्षेत्रों की तरह यहां भी विकास चाहते हैं। ईयू के सांसदों ने इस दौरान कहा कि हम यहां भारतीय राजनीति में हस्तक्षेप करने के लिए नहीं आए हैं। सांसदों ने कहा कि जो लोग इस बात को लेकर आलोचना कर रहे हैं, उन्हें संसदीय प्रतिनिधिमंडलों के बारे में कोई जानकारी नहीं है। इस तरह के प्रतिनिधिमंडलों का उद्देश्य सूचना और तथ्य एकत्र करना होता है।
Updated on:
30 Oct 2019 06:59 pm
Published on:
30 Oct 2019 06:57 pm
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