
साल 2003 में हुए समझौतों पर पूरी तरह से अमल होगा।
नई दिल्ली। पाकिस्तान में इमरान खान की सरकार बनने के बाद से भारत के साथ लगातार जारी तनातनी के बीच दोनों देशों के बीच युद्धविराम समझौते को फिर से लागू करने पर सहमति बन गई है। इसको लेकर पिछले कुछ समय से बैकडोर से बातचीत जारी थी। इस बात की सहमति डीजीएमओ स्तर पर बनी है और इसे बीती रात से लागू कर दिया गया है।
एलओसी पर सीजफायर का नहीं होगा उल्लंघन
फिलहाल, साल 2003 में पूर्व पीएम अटल बिहारी वाजपेयी और पाकिस्तान के तत्कालीन राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ के बीच संपन्न युद्धविराम समझौते को ही लागू किया जाएगा। दोनों देश किसी भी विवाद को बातचीत के जरिए सुलझाएंगे। दोनों देश के डीजीएमओ इस बात पर भी सहमत हुए हैं कि अब एलओसी पर सीजफायर का उल्लंघन नहीं होगा न ही गोलीबारी होगी।
2020 में 14 जवान हुए थे शहीद
बता दें कि पिछले साल पाकिस्तानी गोलीबारी में 71 लोग घायल हुए थे। जबकि 14 जवान शहीद हो गए थे। पाकिस्तान ने 2020 में 5133 बार सीजफायर का उल्लंघन किया था।
Updated on:
25 Feb 2021 01:53 pm
Published on:
25 Feb 2021 01:45 pm
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