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भारत-चीन के बीच कोर कमांडर स्तर की वार्ता खत्म, हॉट स्प्रिंग और गोगरा से सैनिक हटाने पर जोर

भारत-चीन के बीच 12वें दौर की कोर कमांडर स्तर की वार्ता निर्धारित समय पर सुबह साढ़े 10 बजे शुरू हुई और शाम को 7:30 बजे खत्म हुई। बातचीत के दौरान दोनों देश इस बात पर सहमत हुए कि वार्ता का उद्देश्य 14 महीनों से अधिक समय से पूर्वी लद्दाख क्षेत्र में जारी गतिरोध को खत्म करना है।

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India-China Corps Commander Level Talks, Emphasis On Disengagement Of Troops From Hot Springs And Gogra

नई दिल्ली। भारत-चीन में जारी सीमा विवाद ( India China Border Talks ) के बीच शनिवार को 12वें दौर की कोर कमांडर स्तर की वार्ता हुई। दोनों देशों की कोर कमांडर स्तर की ये वार्ता करीब 9 घंटे तक चली। वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के चीन की ओर ओल्डी में हुई यह बैठक शाम 7.30 बजे खत्म हुई। इस दौरान दोनों पक्षों ने पूर्वी लद्दाख सेक्टर के साथ चल रहे सैन्य गतिरोध को खत्म करने को लेकर कई मुद्दों पर चर्चा की।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, दोनों सेना के मध्य बातचीत निर्धारित समय पर सुबह साढ़े 10 बजे शुरू हुई थी। बातचीत के दौरान दोनों देशों में ये सहमति बनी की वार्ता का उद्देश्य 14 महीनों से अधिक समय से पूर्वी लद्दाख क्षेत्र में जारी गतिरोध को खत्म करना है।

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बातचीत के दौरान भारत ने स्पष्टता के साथ अपनी बात दोहराते हुए हॉट स्प्रिंग और गोगरा में सैनिकों की वापसी की प्रक्रिया बहाल करने पर जोर दिया। बता दें कि इससे पहले भारत-चीन के बीच 11वें दौर की बातचीत 9 अप्रैल को एलएसी पर भारत की ओर चुशुल सीमा बिंदु पर हुई थी। दोनों देशों के बीच तब करीब 13 घंटे तक मैराथन बैठक हुई थी। इसमें कई महत्वपूर्ण क्षेत्रों से सैनिकों की वापसी पर सहमति बनी थी।

LAC पर दोनों देशों में तनाव बरकरार

आपको बता दें कि इससे पहले पिछले दौर की वार्ता में भी दोनों देशों के बीच हॉट स्प्रिंग, गोगरा और देप्सांग आदि क्षेत्रों से सैनिकों की वापसी को लेकर चर्चा हुई थी, लेकिन चीन अपनी नापाक हरकतों से बाज नहीं आया और सीमा पर अपना नापाक गतिविधियों को अंजाम देता रहा। भारत ने भी चीन की हर नापाक चाल का जवाब देने के लिए हर मोर्चे पर अपनी तैयारी को मजबूत किया।

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हालांकि, दोनों पक्षों ने सिलसिलेवार सैन्य एवं कूटनीतिक वार्ता के बाद पैंगोंग झील के उत्तर और दक्षिणी किनारों से सैनिकों और हथियारों को हटाने की प्रक्रिया फरवरी में पूरी कर ली है। पिछले कुछ समय में LAC पर दोनों देशों की सेनाओं के बीच टकराव की स्थिति देखने को मिला है। फिलहाल, दोनों देशों की ओर से एलएसी पर संवेदनशील क्षेत्रों में 50,000 से 60,000 सैनिक तैनात हैं।