
Railway accepted 9 k complaints over bad quality of food
राजधानी और शताब्दी एक्सप्रेस ट्रेनों में खानपान से संबंधित शिकायतें अक्सर आती रहती है। शुक्रवार को इन गड़बडिय़ों की बात को सरकार ने भी स्वीकार किया। रेल राज्य मंत्री राजेन गोहेन ने राज्यसभा एक सवाल के जवाब में बताया कि 2014 से 2017 अक्टूबर तक दोनों ही रेलगडिय़ों में गुणवत्ता से जुड़ी 9804 शिकायतें मंत्रालय को मिली हैं। रेल राज्य मंत्री ने कहा- पिछले तीन सालों में केटरिंग संबंधित शिकायतों की वजह से 3486 केटरर पर फाइन लगाया गया। इसके साथ 3624 को चेतावनी दी गई, वहीं खानपान संबंधी 10 ठेके रद्द किए गए और 1134 केटरर को उचित परामर्श जारी किया गया। गोहेन के मुताबिक 467 शिकायतें आधारहीन पाई गईं जबकि 44 में अनुशासनात्मक कार्रवाई की गई।
रेलवे से संबंधित एक दूसरे सवाल के जवाब में गोहेन ने बताया कि भारतीय इस्पात निगम लि. रेलवे पटरियों की आपूर्ति में कमी के कारण सरकार ने चार लाख मीट्रिक टन पटरियों की आपूर्ति के लिए वैश्विक निविदा जारी की हैं। वहीं रेल मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि सरकार रेलवे स्टेशनों को यात्रियों की आवाजाही, राजस्व उगाही और महत्व के आधार पर दोबारा श्रेणीबद्ध कर रही है। इसके तहत 23 स्टेशनों फिर से विकास किया जाएगा।
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सिर्फ 30 फीसदी बुकिंग क्यों हो रही हैं लग्जरी ट्रेनों में
संसद की एक स्थायी समिति ने रेलवे से यह भी पूछा कि आजकल लग्जरी ट्रेनें खाली क्यों चल रही है। ऐसा देखा जा रहा है कि इन लग्जरी ट्रेनों में केवल 30 फीसदी बुकिंग ही हो रही है। समिति ने सदन में लग्जरी ट्रेनों की बुकिंग का आंकड़ा भी पेश किया। जिसके मुताबिक महाराजा एक्सप्रेस, गोल्डन चैरियट, रायल राजस्थान आन व्हील्स, पैलेस आन व्हील्स ट्रेनों में 2102 से 2017 के दौरान खाली सीटों की संख्या क्रमश: 62.7 फीसदी, 57.76 फीसदी, 45.46 फीसदी और 45.81 फीसदी थी। समिति ने लग्जरी ट्रेनों में यात्रियों की कमी के मामले को गंभीरता से नहीं लेने के लिए मंत्रालय की आलोचना की।
Published on:
05 Jan 2018 09:21 pm
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