
ट्रैक्टर परेड के दौरान हिंसा के बाद अब असामाजिक तत्वों की पहचान
नई दिल्ली. गणतंत्र दिवस पर राजधानी दिल्ली में किसान ट्रैक्टर परेड के दौरान हिंसा के बाद अब सरकार और दिल्ली पुलिस ऐसे असामाजिक तत्वों की पहचान और धरपकड़ कर रही है, जिन्होंने इस दौरान हिंसा भडक़ाई। इस बीच ट्विटर ने भडक़ाऊ ट्वीट कर नियमों का उल्लंघन करने पर 550 अकाउंट को सस्पेंड कर दिया है। माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म के प्रवक्ता ने बताया कि एक समाचार एजेंसी को बताया कि हमने हिंसा, दुव्र्यवहार और उकसाने वाले संवादों को हटाकर ऐसे अकाउंट की पहचान की है। उन्होंने कहा कि हम सतर्क और स्थिति पर पैनी निगाह बनाए हुए हैं। ज्ञातव्य है कि मंगलवार को दिल्ली की सीमाओं पर किसानों के बीच कुछ उपद्रवियों ने बैरिकेड्स तोडकऱ राजधानी में प्रवेश किया, पुलिसकर्मियों पर जानलेवा हमला किया और ऐतिहासिक लाल किले की प्राचीर पर तिरंगा हटाकर राष्ट्र की अस्मिता से खिलवाड़ किया।
दो किसान संगठन आंदोलन से हटे, टिकैत पर लगाए गंभीर आरोप
मंगलवार को राजधानी में उपद्रव और हिंसा के बाद दो किसान संगठनों ने कृषि कानूनों के खिलाफ हो रहे आंदोलन से खुद को हटाने की घोषणा कर दी है। (Two farmers' organizations withdrew from the movement) इनमें राष्ट्रीय किसान मजदूर संगठन और भारतीय किसान यूनियन (भानू) ने गाजीपुर और नोएडा बॉर्डर से अपना प्रदर्शन वापस ले लिया है। इतना ही नहीं इन संगठनों ने भारतीय किसान यूनियन के प्रवक्ता महेंद्र सिंह टिकैत पर भी गंभीर आरोप लगाए हैं (serious allegations against Tikait)। किसान मजदूर संगठन के नेता वीएम सिंह ने कहा कि हम देश को बदनाम नहीं करना चाहते हैं। वीएम सिंह ने कहा कि राकेश टिकैत ने एक भी मीटिंग में गन्ना किसानों की मांग नहीं उठाई। वहीं, बीकेयू (भानु) के अध्यक्ष ठाकुर भानू प्रताप सिंह ने कहा कि दिल्ली में जो कुछ भी कल हुआ, उससे मैं काफी आहत हूं और हम अपना 58 दिन पुराना आंदोलन खत्म कर रहे हैं।
टिकैत, योगेंद्र यादव सहित 22 पर एफआइआर (FIR on 22 including Tikait, Yogendra Yadav)
उधर हिंसा को लेकर दिल्ली पुलिस ने किसान नेता राकेश टिकैत, योगेंद्र यादव, मेधा पाटकर सहित 22 लोगों पर एफआइआर दर्ज की गई है। पुलिस ने 200 लोगों को हिरासत में लिया है। हिंसा में 300 से अधिक पुलिसकर्मी घायल हो गए थे।
Published on:
27 Jan 2021 08:33 pm
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