तिब्बत के मामले में अमरीका ने धर्मगुरु दलाई लामा का समर्थन किया है। अमरीकी दूत सैम्युएल ब्राउनबैक ने चीन से कहा है कि वे अपने सहयोगियों के साथ बातचीत करें। दलाई लामा तिब्बत की स्वतंत्रता के लिए लड़ाई लड़ रहे हैं। दलाई लामा फिलहाल भारत में रह रहे हैं।
धर्मशाला। तिब्बत के धर्मगुरु दलाई लामा के समर्थन में अमरीका ने अपनी प्रतिबद्धता दोहराई है। साथ ही चीन से अपील की है कि वे अपने सहयोगियों से बातचीत करें। दरअसल अंतर्राष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता मामलों के अमरीकी दूत सैम्युएल ब्राउनबैक ने कहा कि अमरीका दलाई लामा के मध्यमार्गी दृष्टिकोण का समर्थन करता रहेगा। सोमवार कॉसेंट्रल टिबिटन एडमिनिस्ट्रेशन (सीटीए) ने बताया कि ब्राउनबैक चीन से दलाई लामा या उनके प्रतिनिधियों के साथ औपचारिक वार्ता शुरू करने की अपील की।
बता दें कि पिछले सप्ताह रीजनल रिलिजियस फ्रीडम फोरम 2019 के लिए ताइवान पहुंचे ब्राउनबैक ने ये बात कही। इस दौरान मंच पर प्रेसिडेंट त्साई इंग-वेन भी मौजूद थे। सीटीए के अनुसार, अमरीकी दूत ने यह कहते हुए चीन के तिब्बत पर कब्जे की निंदा की कि इससे तिब्बत की सभ्यता का केंद्र रहे बौद्ध धर्म को दानव व अपराधी बनाया गया। उन्होंने कहा, "तिब्बत के लोग उनके तिब्बत में नामौजूदगी से दुखी हैं और उस दिन के इंतजार में हैं जब उनकी वापसी होगी और वह अपना उचित स्थान ग्रहण करेंगे क्योंकि वह उनके सबसे महत्वपूर्ण धार्मिक नेता हैं।" उन्होंने कहा, "हम चीन से परमादरणीय (दलाई लामा) या उनके प्रतिनिधियों के साथ शीघ्र बातचीत शुरू करने की अपील करते हैं।" आपको बता दें कि तिब्बत एक स्वतंत्र राज्य है, लेकिन चीन लगातार उसपर अपना दावा करता है।
Read the Latest India news hindi on Patrika.com. पढ़ें सबसे पहले India news पत्रिका डॉट कॉम पर.