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Mumbai: पुलिस ने यौन उत्पीड़न के आरोप में चिकित्सा अनुसंधान संस्थान से 6 लोगों के खिलाफ किया केस दर्ज, जानें पूरा मामला

मुंबई में एक चिकित्सा अनुसंधान संस्थान में प्रबंधकीय पद पर कार्यरत 42 वर्षीय एक महिला ने अपने 6 पूर्व सहयोगियों के खिलाफ यौन उत्पीड़न की शिकायत दर्ज करवाई है। आरोपियों में से दो फर्म की प्रिवेंशन ऑफ सेक्सुअल हैरेसमेंट (POSH) कमेटी के सदस्य हैं।

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मुंबई में एक चिकित्सा अनुसंधान संस्थान में प्रबंधकीय पद पर कार्यरत 42 वर्षीय एक महिला ने अपने 6 पूर्व सहयोगियों के खिलाफ यौन उत्पीड़न की शिकायत दर्ज करवाई है। पूर्व सहयोगियों के खिलाफ लगातार यौन उत्पीड़न, संगठन के साथ एक आधिकारिक शिकायत का संज्ञान न लेने और मौत का आरोप लगाते हुए एफआईआर दर्ज की है। और शिकायत के परिणामस्वरूप बलात्कार की धमकी दी गई है। इन आरोपियों में से दो फर्म की प्रिवेंशन ऑफ सेक्सुअल हैरेसमेंट (POSH) कमेटी के सदस्य हैं।

बता दें कि इन दो आरोपी ने कथित तौर पर मुख्य आरोपी को बचाया और पीड़ित को डराने-धमकाने की कोशिश की है। भोईवाड़ा पुलिस के मुताबिक, पीड़िता ने अनुबंध के आधार पर काम किया और 30 जून को लिखित आवेदन दिया था। आवेदन के आधार पर पुलिस ने पीड़िता की शिकायत दर्ज की है और मामले की जांच में जुटी है। यह भी पढ़ें: Maharashtra Politics: महाराष्ट्र में बालासाहेब की विरासत पर बीजेपी की खास नजर, उद्धव ठाकरे को झटका देने के लिए बनाई ये रणनीति

इस मामले के मुख्य आरोपी की पहचान संस्थान के कर्मचारी कल्याण अधिकारी के रूप में हुई है। पीड़िता ने पुलिस को बताया कि वह पिछले साल 27 जुलाई को संगठन में शामिल हुई, आरोपी बार-बार अलग-अलग बहाने बनाकर उसके केबिन में गया और उसके रंग और रूप के बारे में टिप्पणी की। जैसे-जैसे समय बितने लगा आरोपी की हरकतें बढ़ने लगी और कुछ दिनों बाद वो बिना सहमति के उसे छूना शुरू कर दिया, यह जताते हुए कि यह गलती से हुआ था। प्यार में पड़ने के बहाने उसने महिला बाहर की घूमने के लिए बुलाया।

महिला ने उसे इस बात से चेताया भी लेकिन चेतावनी मिलने के बावजूद आरोपी में कोई बदलाव नहीं हुआ। जब बात ज्यादा बढ़ने लगी तो महिला ने इसकी शिकायत अपने सीनियर अधिकारी से की, लेकिन सीनियर अधिकारी ने उसे गंभीरता से नहीं लिया। इस साल 8 मार्च को महिला दिवस समारोह में उस व्यक्ति ने कथित तौर पर उसके साथ मारपीट की और उसे गलत तरीके से छुआ।

इस बाद जब महिला ने दूसरी बार इसकी शिकायत की तो, दो सीनियर अधिकारी कथित तौर पर उसके केबिन में आए और आगे कोई शिकायत न करने की धमकी देने लगे थे। महिला की शिकायत के मुताबिक, बाद में सभी आरोपी उसे चरित्र हनन के साथ बार-बार प्रताड़ित करने लगे। बाद में उसे पता चला कि कर्मचारी कल्याण अधिकारी उसके शामिल होने से पहले ही उसके बारे में अफवाहें फैला रहा था क्योंकि उसकी नजर उसके पद पर थी। इसके बाद, दो अन्य आरोपी ने भी कथित तौर पर उस व्यक्ति के बारे में शिकायत करने पर गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी दी थी।

महिला की शिकायत के बाद पुलिस ने कल्याण अधिकारी और चार अन्य पर भारतीय दंड संहिता के तहत हमला या आपराधिक बल, यौन उत्पीड़न, पीछा, मानहानि और आपराधिक धमकी के आरोप में केस दर्ज कर लिया है। पुलिस निरीक्षक दिलीप मसराम ने बताया कि सभी छह आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। संपर्क करने पर फर्म के प्रबंध निदेशक स्टेशन से बाहर थे। उन्होंने फ्री प्रेस जर्नल को एक महिला निदेशक से संपर्क करने का निर्देश दिया, लेकिन टिप्पणी के लिए उनसे संपर्क नहीं हो सका।