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खींवसर में बनेगा एशिया का सबसे बड़ा लाइम प्लांट, 225 करोड़ रुपए होंगे खर्च

400 से अधिक लोगों को मिलेगा रोजगार

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खींवसर में बनेगा एशिया का सबसे बड़ा लाइम प्लांट, 225 करोड़ रुपए होंगे खर्च

नागौर के खींवसर में प्लांट की जगह का सोमवार को अवलोकन करती टीम।

नागौर जिले के खींवसर कस्बे में एशिया की सबसे बड़ी एवं विश्व में लाइम उत्पादन में 8वें नम्बर की थाइलैंड की चेममैन पब्लिक कम्पनी एवं खींवसर माइन कॉर्पोरेशन खींवसर में एशिया का सबसे बड़ा क्विक लाइम उत्पादन प्लांट लगाएगी। करीब 225 करोड़ रुपए की लागत से तैयार होने वाले इस प्रोजेक्ट पर 400 से अधिक लोगों को रोजगार मिलेगा। मई-जून में प्लांट का काम शुरू होगा और अगले वर्ष से उत्पादन भी शुरू हो जाएगा। इसमें प्रथम फेज में करीब 600 टन प्रतिदिन क्विक लाइम उत्पादन होगा, वहीं द्वितीय फेज तक एक हजार टन से अधिक उत्पादन शुरू हो जाएगा। प्लांट पर विद्युत व्यवस्था को लेकर करीब 150 बीघा भूमि पर 15 मेगावाट का सोलर प्लांट भी बनेगा। लाइम उत्पादन का प्रोजेक्ट बैरावास रोड स्थित 60 बीघा भूमि पर लगेगा।

भू-गर्भ विशेषज्ञों के अनुसार कैमेस्ट्री ग्रेड का लाइम स्टोन पूरे भारत में केवल खींवसर में ही पाया जाता है। कम्पनी मेक इन इण्डिया की तर्ज पर प्लांटेशन में काम करेगी। प्रोजेक्ट को लेकर कम्पनी के कार्यकारी अधिकारी आदिसाक लोजुन सहित सीएमएएन की पूरी टीम रविवार को खींवसर पहुंची। इस दौरान खींवसर माइन कॉर्पोरेशन के चेयरमैन धनन्जयसिंह खींवसर ने कहा कि वे लाइम स्टोन की दशा में अन्तरराष्ट्रीय स्तर पर बदलाव लाएंगे तथा पर्यावरण का विशेष ध्यान रखते हुए क्षेत्र के किसानों को भी इसका पूरा लाभ पहुंचाएंगे।
लोजुन ने बताया कि भारत के 70 प्रतिशत से अधिक चूना पत्थर भंडार राजस्थान में होने के कारण, राजस्थान राज्य में एक आधुनिक चूना संयंत्र विकसित करना है। खींवसर कई पीढिय़ों से भारत में चूना उत्पादन का केंद्र रहा है।