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मोदी सरकार ने जम्मू-कश्मीर में Article 370 हटाकर आतंकवाद पर लगाई लगाम : गृहमंत्री अमित शाह

J&K and Ladakh Through the Ages नामक पुस्तक के विमोचन अमित शाह ने कहा, "इस पुस्तक में सभी तथ्यों को विस्तार से प्रस्तुत किया गया है। पुराने मंदिरों के खंडहरों में कलाकृतियां यह साबित करती हैं कि कश्मीर भारत का हिस्सा रहा है। बौद्ध धर्म से लेकर ध्वस्त मंदिरों तक, संस्कृत के उपयोग, महाराजा रणजीत सिंह के शासन से लेकर डोगरा शासन तक, 1947 के बाद की गई गलतियों और उनके सुधार तक, सभी 8000 वर्षों का इतिहास इस पुस्तक में शामिल है।'

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Amit Shah at the launch of the book J&K and Ladakh Through the Ages

Amit Shah

केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने कहा है कि भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार ने न केवल आतंकवाद को नियंत्रित किया बल्कि घाटी से आतंकी पारिस्थितिकी तंत्र को भी ध्वस्त कर दिया। अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) के दृढ़ संकल्प के कारण जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाया गया। जेएंडके एंड लद्दाख थ्रू द एजेस (J&K and Ladakh Through the Ages) नामक पुस्तक के विमोचन के अवसर पर बोलते हुए अमित शाह ने कहा कि कश्मीर हमेशा से भारत का अभिन्न अंग रहा है।


'पीएम मोदी के दृढ़ संकल्प से हुआ कश्मीर का विकास'

मोदी सरकार ने अगस्त 2019 में जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटा दिया था। गृहमंत्री ने कहा कि अनुच्छेद 370 और 35ए (Article 370 and 35A) कश्मीर के साथ पूरे देश के विकास में आड़े आ रहे थे। उन्होंने कहा, "पीएम मोदी के दृढ़ संकल्प ने अनुच्छेद 370 को खत्म कर दिया, इससे देश के बाकी हिस्सों के साथ कश्मीर का भी विकास शुरू हुआ। अनुच्छेद 370 ने घाटी में अलगाववाद के बीज बोए जो बाद में आतंकवाद में बदल गए। अनुच्छेद 370 ने एक मिथक फैलाया कि कश्मीर और भारत के बीच संबंध अस्थायी है। दशकों तक आतंकवाद था और देश देखता रहा। अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद आतंकवाद में 70 प्रतिशत की कमी आई है। कांग्रेस हम पर जो चाहे आरोप लगा सकती है। पीएम मोदी ने 80,000 करोड़ रुपये का पैकेज जारी किया। हमने न केवल आतंकवाद को नियंत्रित किया, बल्कि पीएम मोदी सरकार ने घाटी से आतंकी इको-सिस्टम को भी खत्म कर दिया।'


कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है और हमेशा से रहा है- शाह

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि पुस्तक से यह साबित होता है कि देश भर में फैली संस्कृति, भाषाएं, लिपियां, आध्यात्मिक विचार, तीर्थ स्थलों पर कलाकृतियां, व्यापार और वाणिज्य कश्मीर में कम से कम 10000 साल से मौजूद थे और वहां से देश के कई अन्य हिस्सों में फैले। उन्होंने कहा, 'जब 8000 साल पुरानी किताबों में कश्मीर और झेलम का जिक्र है, तो कोई यह टिप्पणी नहीं कर सकता कि कश्मीर किसका है। कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है और हमेशा से रहा है। कोई भी कानून की धाराओं का उपयोग करके इसे अलग नहीं कर सकता। कानून का उपयोग करके इसे अलग करने का प्रयास किया गया, लेकिन समय के प्रवाह में उन धाराओं को निरस्त कर दिया गया और सभी बाधाएं दूर हो गईं।'

इतिहास से छुटकारा पाने का समय आ गया है- अमित शाह


अमित शाह ने कहा कि शासकों को खुश करने के लिए लिखे गए इतिहास से छुटकारा पाने का समय आ गया है। उन्होंने कहा, "देश के इतिहास को तथ्यों और सबूतों के साथ पेश करने और इसे दुनिया के सामने पेश करने का समय आ गया है" शाह ने कश्मीर की भाषाओं को नया जीवन देने के लिए प्रधानमंत्री मोदी के प्रति आभार व्यक्त किया। केंद्रीय मंत्री ने कहा, "पीएम मोदी ने जोर देकर कहा कि कश्मीर में बोली जाने वाली हर भाषा को महत्व दिया जाना चाहिए और उसे शामिल किया जाना चाहिए। यह साबित करता है कि किसी भी देश का पीएम देश की भाषाओं के प्रति कैसे संवेदनशील हो सकता है।" उन्होंने कहा, 'इतिहासकारों ने जो किया वो किया लेकिन अब हमें कौन रोक सकता है? देश आजाद है और एक सरकार है जो देश के विचारों के अनुसार चल रही है। अब हमारा काम है कि हम तथ्यों और सबूतों के साथ और अपने दृष्टिकोण से देश का प्रतिनिधित्व करें।'इतिहास से छुटकारा पाने का समय आ गया है।'

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