
Lok Sabha Elections 2024 : लोकसभा चुनाव के दो चरण पूरे हो चुके हैं और पांच चरण अभी बाकी हैं। यूं तो हर राज्य की कोई न कोई सीट अलग-अलग कारणों से चर्चा में बनी हुई है। इन सबके बीच लद्दाख लोकसभा सीट पर भी सभी की निगाहें हैं। इस सीट पर लद्दाख के केन्द्र शासित प्रदेश बनने के बाद पहली बार चुनाव हो रहे हैं। जम्मू-कश्मीर से लद्दाख के अलग होने और अनुच्छेद 370 हटने के बाद लद्दाख को पूर्ण राज्य बनाने और विकास से जुड़े मुद्दों की चर्चा है।
पाकिस्तान से सटी नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर स्थित यह लोकसभा क्षेत्र करगिल युद्ध के बाद कई तरह के संघर्षों से गुजरा है। हिमालय की गोद में बसा यह क्षेत्र अपनी प्राकृतिक सुंदरता के कारण विश्व-विख्यात है। यहां देश-दुनिया से पर्यटक घूमने आते हैं। इस क्षेत्र की अर्थव्यवस्था की रीढ़ पर्यटन है और पर्यटन के विकास से जुड़े मुद्दों की चर्चा चुनावी चर्चाओं में शामिल है। यहां 20 मई को मतदान होगा। इस सीट पर भाजपा और कांग्रेस के बीच मुख्य मुकाबला माना जा रहा है।
भाजपा ने यहां अपना प्रत्याशी घोषित कर दिया है। भाजपा ने यहां वर्तमान सांसद जामयांग सेरिंग नामग्याल का टिकट काटकर इस बार ताशी ग्यालसन को नए चेहरे के रूप में मैदान में उतारा है। इसके बाद भाजपा के सामने मौजूदा सांसद और उनके समर्थकों की नाराजगी की चर्चा सामने आई। इसके बाद सांसद जामयांग सेरिंग नामग्याल ने स्पष्ट किया है, उनको लेकर जो बातें कही जा रही हैं, वे सही नहीं हैं। उनके नाम फर्जी मैसेज चलाए जा रहे हैं, जिनकी वे निंदा करते हैं। भाजपा यहां हैट्रिक लगाने की कोशिश में है।
चुनाव आयोग भी यहां ज्यादा से ज्यादा लोगों की मतदान में भागीदारी का प्रयास कर रहा है। लद्दाख एक ऐसा केंद्र शासित प्रदेश है, जहां चुनाव कराना चुनाव आयोग के लिए बड़ी चुनौती रहती है। आमतौर पर बर्फ से ढके लद्दाख में तापमान माइनस में रहता है। यहां 15,000 फीट की ऊंचाई पर भी एक मतदान केन्द्र बनाया गया है। यह मतदान केंद्र केवल एक ही परिवार के लिए बनाया गया है। लद्दाख के लेह जिले में नुब्रा के सुदूरवर्ती गांव वारशी में एक ही परिवार के लिए इसे बनाया गया है।
Published on:
30 Apr 2024 10:14 am
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