21 दिसंबर 2025,

रविवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

संचार साथी App पर पीछे हटी केंद्र सरकार, फोन में प्री-इंस्टॉलेशन की हटाई अनिवार्यता

Sanchar Saathi Mobile App: सरकार ने सभी स्मार्टफोनों में अनिवार्य रूप से ‘संचार साथी’ ऐप प्री-इंस्टॉल करने का आदेश विरोध के बाद वापस ले लिया। अब ऐप डाउनलोड पूरी तरह स्वैच्छिक रहेगा।

less than 1 minute read
Google source verification

भारत

image

Devika Chatraj

Dec 03, 2025

संचार साथी ऐप (File Photo)

केंद्र सरकार ने बुधवार को अपना आदेश वापस ले लिया, जिसमें देश में बिकने वाले सभी नए स्मार्टफोनों में साइबर फ्रॉड (Cyber Fraud) से बचाव के लिए ‘संचार साथी’ पोर्टल (Sanchar Saathi) का आधिकारिक ऐप पहले से इंस्टॉल (प्री-इंस्टॉल) करना अनिवार्य किया गया था। दूरसंचार विभाग (DoT) द्वारा जारी नए बयान में कहा गया है कि पिछले 24 घंटों में ही 6 लाख से ज्यादा यूजर्स ने स्वेच्छा से इस ऐप को गूगल प्ले स्टोर और ऐप स्टोर से डाउनलोड कर लिया है। इसे देखते हुए सरकार को लगा कि जागरूकता अभियान सफल हो रहा है और जबरन प्री-इंस्टॉल करने की जरूरत नहीं रह गई है।

ऐप का उपयोग पूरी तरह से स्वैच्छिक

सरकार का स्पष्ट कहना है कि प्री-इंस्टॉलेशन का निर्देश सिर्फ “अपनाने की प्रक्रिया को तेज करने” के लिए जारी किया गया था, न कि इसे अनिवार्य बनाने के लिए। बयान में कहा गया, “ऐप का उपयोग पूरी तरह स्वैच्छिक रहेगा। नागरिकों की निजता और डेटा सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाएगी।”

क्यों हुआ था विरोध?

आदेश जारी होते ही कांग्रेस, AAP, TMC समेत तमाम विपक्षी दलों, डिजिटल अधिकार संगठनों (इंटरनेट फ्रीडम फाउंडेशन, आदि) और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने इसे “निजता पर हमला” करार दिया था।

विपक्ष का क्या था पक्ष

सरकार का कोई भी ऐप फोन में जबरन डालना निजता के अधिकार (आर्टिकल 21) का उल्लंघन है। ऐप के जरिए नागरिकों की अनावश्यक निगरानी हो सकती है। 2021 का पेगासस स्पाइवेयर कांड फिर याद आने लगा। सूत्रों के मुताबिक Apple, Samsung सहित कई बड़ी स्मार्टफोन कंपनियां भी इस नियम से असहज थीं और इसे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चुनौती देने की तैयारी कर रही थीं।