
नई दिल्ली. ग्रीष्मकालीन ओलंपिक 2036 और पैरालंपिक की मेजबानी का भारत के दावे के बाद अब इसके आयोजन को लेकर चर्चा होने लगी है। कहा जा रहा है कि दिल्ली-एनसीआर और ताजमहल की नगरी आगरा ओलंपिक स्थल के विकल्प हो सकते हैं। अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आइओसी) भारत की दावेदारी पर विचार करती है तो अगला बड़ा कदम मेजबान शहर की पहचान करना होगा। दिल्ली-एनसीआर और आगरा में ओलंपिक के आयोजन पर विचार किया जा सकता है। अब तक अहमदाबाद और मुंबई को प्रमुख विकल्पों के रूप में देखा जा रहा था। अहमदाबाद को 1.32 लाख दर्शकों की क्षमता वाले नरेंद्र मोदी क्रिकेट स्टेडियम और मुंबई को देश की वित्तीय राजधानी होने के कारण ओलंपिक की मेजबानी का दावेदार माना जा रहा था। ओलंपिक की मेजबानी के लिए विकल्प चुनने के दौरान शहर की पर्यटन क्षमता, विनिर्माण उद्योग, पहुंच, हवाई अड्डों और जनसंख्या जैसे मुद्दों पर विचार किया जाता है। इस मुद्दे पर अगले साल प्रक्रिया आगे बढ़ेगी।
इसलिए दावा मजबूत
1. दिल्ली देश की राजधानी है। प्रमुख पर्यटन स्थलों का प्रवेश द्वार है।
2. दिल्ली-एनसीआर और आगरा के आसपास कनेक्टिविटी तेजी से बढ़ रही है। चार हवाई अड्डे हैं। इससे पर्यटकों को सुविधा होगी।
3. भविष्य में नए निर्माण के लिए भूमि उपलब्ध है।
4. ताजमहल दुनिया के पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है।
पर्यटन का रखा जाता है विशेष ध्यान
ओलंपिक आयोजन से जुड़े लोगों का मानना है कि शहर के चयन के दौरान पर्यटन को केंद्र में रखा जाता है। लंदन ओलंपिक-2012 के लिए टेम्स नदी और टावर ब्रिज केंद्र में रखे गए। इसी तरह रियो-2016 में क्राइस्ट द रिडीमर की मूर्ति और फ्रांस में एफिल टावर को प्रमुखता दी गई। इसे देखते हुए भारत में ताजमहल सर्वाधिक प्रतिष्ठित स्थल है। सरकार ताजमहल को ओलंपिक के प्रतीक के रूप में उपयोग कर सकती है।
Published on:
21 Nov 2024 01:19 am
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