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weather update जून में अब तक औसत से 100 फीसदी कम बारिश, इसलिए हीटवेव का प्रभाव

जून के 16 दिन बीत चुके हैं। इस महीने की गर्मी मार्च, अप्रेल व मई भारी पड़ रही है, क्योंकि हीटवेव व वार्म नाइट की वजह से लोग गर्मी से बेहाल हैं। गर्मी का सबसे बड़ा कारण प्री मानसून की बारिश न होना है। जून में अब तक 100 फीसदी कम बारिश हुई है। इस […]

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दोपहर एक बजे अधिकतम तापमान 45 डिग्री सेल्सियस पर पहुंच गया था। यदि आंधी व बारिश नहीं आती तो तापमान 48 डिग्री सेल्सियस के पार पहुंच जाता। क्योंकि हीटवेव की रफ्तार काफी तेज थी।

जून के 16 दिन बीत चुके हैं। इस महीने की गर्मी मार्च, अप्रेल व मई भारी पड़ रही है, क्योंकि हीटवेव व वार्म नाइट की वजह से लोग गर्मी से बेहाल हैं। गर्मी का सबसे बड़ा कारण प्री मानसून की बारिश न होना है। जून में अब तक 100 फीसदी कम बारिश हुई है। इस वजह से राजस्थान गर्म हवा चल रही है और शहर सहित अंचल हीटवेव की चपेट में है। गर्मी से इस हफ्ते राहत की उम्मीद भी नहीं है। 24 जून के बाद प्री मानसून की बारिश हो सकती है। साथ ही 28 जून के बाद ही मानसून आने की संभावना है। क्योंकि अरब सागर व बंगाल की खाड़ी में मानसून की रफ्तार धीमी हो चुकी है।

जून औसत से पिछड़ा, क्योंकि मानसून की रफ्तार पड़ चुकी है धीमी

जून के पहले सप्ताह के बाद शहर में प्री मानसून की बारिश शुरू हो जाती थी। इस महीने का औसत तापमान 40.4 डिग्री सेल्सियस है, लेकिन आंधी व बारिश होने की वजह से तापमान 42 डिग्री सेल्सियस से ऊपर नहीं जा पाता था। दूसरे सप्ताह के बाद हीटवेव चलने की संभावना नहीं रहती थी। दूसरे व तीसरे सप्ताह में प्री मानसून की झमाझम बारिश होती है और अंतिम सप्ताह में मानसून की दस्तक हो जाती है। इस बार का मौसम लोगों को हैरान किए है। बादल व बूंदाबांदी होने के बाद भी तापमान अधिकतम व न्यूनतम तापमान सामान्य स्थिति में नहीं आ रहे हैं।


23 के बाद करें धान की नर्सरी

मौसम विभाग ने खरीफ की फसल के लिए सलाह दी है। किसान धान की नर्सरी 23 जून के बाद तैयार करें। साथ ही 100 मिमी बारिश होने के बाद सोयावीन, उड़द, मूंग, अरहर की बुवाई शुरू करें। क्योंकि 22 जून को मानसून दक्षिण मध्य प्रदेश में आएगा। इसलिए किसान पानी की स्थिति को देखते हुए खरीफ की बोवनी शुरू कहें।


इस कारण हो रही भीषण गर्मी

- बंगाल की खाड़ी में बारिश के सिस्टम नहीं बन रहे है, जिसकी वजह से 31 मर्ई के बाद से पूर्वी शाखा से मानसून आगे नहीं बढ़ा है। दक्षिण पूर्वी हवा की जगह पश्चिम दक्षिण हवा चल रही है। यह हवा अपने साथ गर्म हवा लेकर आ रही है। प्रदेश में ग्वालियर व बुंदेलखंड अंचल सबसे ज्यादा गर्म हो रहे है। इन जगहों पर प्री मानसून की बारिश नहीं हुई है।

- पश्चिमी विक्षोभ भी सक्रिय नहीं है। इस वजह से बारिश की संभावना नहीं बन रही है।