
पैनिक बटन की सुविधा होनी चाहिए
सभी बसों, मेट्रो और रेलवे कोचों में हाई क्वालिटी सीसीटीवी कैमरे लगवाने चाहिए, जिससे किसी भी घटना को रिकॉर्ड किया जा सके। यात्रियों के लिए त्वरित मदद के लिए पैनिक बटन और सीधे पुलिस कंट्रोल रूम से कनेक्शन किया जाना चाहिए। मेट्रो स्टेशन, बस स्टैंड, रेलवे प्लेटफार्म पर पर्याप्त सुरक्षा बल की तैनाती की जानी चाहिए। सभी ड्राइवरों और कर्मचारियों का पुलिस वेरिफिकेशन अनिवार्य कर देना चाहिए। नियम तोड़ने पर भारी जुर्माना और वाहन जप्त करने की कार्रवाई की जानी चाहिए। छेड़छाड़ चोरी या किसी भी अपराध पर तुरंत कार्रवाई और सख्त सजा होनी चाहिए। महिला और वरिष्ठ नागरिकों के लिए आरक्षित सीट और पैनिक बटन की सुविधा होनी चाहिए। पुलिस पेट्रोलिंग और नियमित चेकिंग की जानी चाहिए। हेल्पलाइन नंबर और अलार्म सिस्टम उपलब्ध कराना चाहिए ताकि अपराध की संभावना कम हो सके और सुरक्षा जागरूक अभियान भी चलाना चाहिए। - मोदिता सनाढ्य, उदयपुर
रखरखाव व सुरक्षा मानक का पालन हो।
सबसे मुख्य बात यह जरूरी है कि वाहन का रखरखाव सुनिश्चित किया जाए और उनको अपडेट रखा जाए व सुरक्षा मानक का पालन अवश्य हो। बस स्टॉप, मेट्रो स्टेशन, बस और ट्रेन में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं। आपातकालीन स्थिति में मदद के लिए बटन लगाए जाएं, जो सीधे आपातकालीन सेवाओं से जुड़े हुए हो। हवा व पर्याप्त रोशनी की व्यवस्था हो। सुरक्षा कर्मी तैनात किया जाए। सूचना प्रणाली भी दुरुस्त होनी चाहिए ताकि यात्री को उसकी यात्रा की जानकारी मिलती रहे वह अपने आप को सुरक्षित महसूस करें। वाहन चालक पूर्ण रूप से प्रशिक्षित होना चाहिए। निर्धारित सीटों के अतिरिक्त टिकट न दिए जाएं ताकि बस व ट्रेनों में भीड़भाड़ न हो और लोग परेशान न हों, भगदड़ न मचे यात्रियों को खड़ा न रहना पड़े आराम से सीट पर बैठ कर अपनी यात्रा पूरी कर सके। - लता अग्रवाल चित्तौड़गढ़
सीसीटीवी कैमरों से निगरानी बढ़ाएं
सार्वजनिक परिवहन क्षेत्रों में सुरक्षा के लिए गहन सुधार और रक्षात्मक तकनीकी अपनाने के साथ सीसीटीवी कैमरों से निगरानी बढ़ाने और महिलाओं के अकेले में यात्रा के करने के दौरान इमरजेंसी कॉल करने और मदद की आवश्यकता होने पर तत्काल सहायता मिल सके लूटपाट की घटनाएं न हो इसके विशेष प्रबन्ध पर भी ध्यान देने की आवश्यकता है। - हरिप्रसाद चौरसिया, देवास, (मध्यप्रदेश)
नियमित रूप से हो फिटनेस जांच एवं मॉनिटरिंग
सार्वजनिक परिवहन के साधनों की नियमित सर्विसिंग एवं फिटनेस जांच अनिवार्य रूप से की जानी चाहिए। साथ ही सीसीटीवी कैमरों एवं जीपीएस ट्रैकिंग सिस्टम के माध्यम से यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित की जानी चाहिए। सार्वजनिक परिवहन के साधनों में आपातकालीन निकास द्वार, अग्निशामक यंत्र तथा पैनिक बटन जैसी सुविधाएं उपलब्ध करवाई जानी चाहिए। रात्रिकालीन साधनों में महिलाओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए महिला सुरक्षाकर्मियों की तैनाती भी होनी चाहिए। - सर्वजीत अरोड़ा, जयपुर
Published on:
15 Jul 2025 01:07 pm
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