विभागाध्यक्ष पाबंद, पत्रिका ने उजागर किया था मामला
effect of news...बांगड़ मेडिकल कॉलेज में प्रसव के लिए आने वाली महिलाओं व उनके परिजनों से अब नेग के नाम पर रुपए लेना कार्मिकों को भारी पड़ सकता है। राजस्थान पत्रिका ने 17 मई के अंक में खुशियों पर टैक्स: किलकारी गूंजते ही देना पड़ता है नेग शीर्षक से समाचार प्रकाशित कर बताया था कि लेबर कक्ष में कार्मिक प्रसूताओं के प्रसव के बाद नवजात होने पर परिजनों से राशि वसूल रहे थे। इसके बाद अस्पताल प्रशासन हरकत में आया और गायनिक विभाग के विभागाध्यक्ष को बुलाकर कार्मिकों को नेग नहीं लेने के लिए पाबंद किया गया। इसके साथ ही कार्मिकों पर निगरानी भी बढ़ा दी। इधर, अस्पताल में गायनिक के साथ सोनाग्राफी सहित अन्य जगहों पर वसूली जाने वाली राशि पर रोक लगाने के लिए अस्पताल में कई जगह पर पोस्टर लगाए गए है। इसमें राशि मांगने पर तुरन्त मोबाइल नम्बर पर शिकायत करने दर्ज कराने को कहा गया है।
यह लिखा पोस्टर पर
राजकीय बांगड़ मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय में ट्रोली, व्हील चेयर, सभी प्रकार की जांच, दवाइयां, रक्त और सभी सेवाएं निशुल्क है। यदि कोई कर्मचारी पैसों की मांग करता है तो निम्न फोन नम्बर पर शिकायत दर्ज करें। इन शिकायतों पर अस्पताल प्रशासन की ओर से तुरन्त कार्रवाई की जाएगी।
15 पोस्टर बनवाकर लगाए
अस्पताल में सभी जांच व उपचार मुफ्त है। यदि कोई पैसे मांगता है तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। हमने 15 पोस्टर बनाकर रुपए मांगने की शिकायत करने के नम्बर अंकित कर दिए हैं। सभी एचओडी को कार्मिकों को पाबंद करने के निर्देश दिए हैं।
डॉ. पीसी व्यास, अधीक्षक, बांगड़ चिकित्सालय, पाली