
Asthma in Winters: बढ़ती ठंड के साथ शहर में अस्थमा के मरीज बढ़ गए हैं। जो मरीज हैं, उनकी तकलीफ भी बढ़ गई है। सिम्स सहित निजी अस्पतालों में मरीजों की संख्या डेढ़ गुना तक बढ़ गई है।

Asthma in Winters: डॉक्टरों के अनुसार इसकी मुख्य वजह मौसम में बदलाव है। ठंड में अस्थमा के मरीजों की तकलीफें तो बढ़ती ही हैं, लेकिन बदले मौसम ने उनकी परेशानी और बढ़ा दी है।

Asthma in Winters: डॉक्टरों का कहना है कि ठंड के सीजन में वायु प्रदूषण व धूल के कणों की मात्रा बढ़ जाती है। ये अस्थमा के मरीजों के लिए खतरनाक है। डॉक्टर घरों में एयर प्यूरीफायर का उपयोग करने और बाहर निकलने से पहले मास्क पहनने की सलाह दे रहे हैं।

Asthma in Winters: मौसमी बीमारियों व अस्थमा से बचे: घर की नियमित रूप से सफाई करें। धूल के कणों को हटाने के लिए वैक्यूम क्लीनर का उपयोग करें।

Asthma in Winters: घर में एयर प्यूरीफायर का उपयोग करें ताकि हवा में मौजूद प्रदूषण वाली चीजों को हटाया जा सके। यदि आपको पालतू जानवरों से एलर्जी है, श्वान, बिल्ली या अन्य पशु तो उनसे दूरी बनाए रखें।

Asthma in Winters: धूम्रपान से दूरी बनाए रखें। घर व बाहर में धूम्रपान करने वालों को रोकें। ताकि समस्या न बढ़े। तनाव से बचें और यदि तनाव होता है, तो इसका सामना करने के लिए कुछ तकनीकों का उपयोग करें।

Asthma in Winters: पर्याप्त पानी पीएं ताकि शरीर में पानी की मात्रा उपलब्ध रहे। नियमित व्यायाम करें जैसे कि चलना, दौड़ना या योग। सुबह मास्क लगाकर निकलें। स्वस्थ आहार लें। जिसमें सब्जी, फल व साबुत अनाज शामिल हों।

Asthma in Winters: यदि अस्थमा का दौरा पड़ने की आशंका है, तो व्यायाम से पहले इनहेलर का उपयोग करें। व्यायाम में सावधानी बरतें। यदि अस्थमा का दौरा पड़ने की संभावना है, तो रुक जाएं।

Asthma in Winters: विशेषज्ञ डॉक्टर से नियमित जांच कराएं ताकि अस्थमा की स्थिति का पता लगाया जा सके। इनहेलर का उपयोग करते हैं तो नियमित उपयोग करें और इसकी खपत को नियंत्रित रखें।

Asthma in Winters: नियमित रूप से करें ये उपाय और मौसमी बीमारियों व अस्थमा से बचे: डॉ. दीपक गुप्ता, सांस व छाती रोग विशेषज्ञ, बिलासपुर अपोलो