शिकायतकर्ता एडवोकेट इसरार अहमद ने बताया कि 50 से भी अधिक लोगों का करोड़ों रुपए खाते से गायब हो जाना और उसके बाद सिर्फ जांच का आश्वासन देकर मामले को दबाने की कोशिश करना सरकारी तंत्र पर सवालिया निशान खड़े कर रहा है। इस मामले में पीड़ित लोगों ने जिला अधिकारी से लेकर मुख्यमंत्री कार्यालय और प्रधानमंत्री कार्यालय तक को अवगत कराया है, लेकिन अभी तक कोई भी कार्रवाई नहीं हुई है। जब भी कोई शिकायत करने जाता है तो यह कहकर उसको भगा दिया जाता है कि अभी जांच चल रही है जांच के बाद बताएंगे।
आपको बता दें कि पत्रिका की खबर के बाद पोस्ट मास्टर जनरल ने खुद अमरिया डाक घर जाकर इसकी जांच की थी और 2 महीने का समय दिया था, लेकिन समय बीत गया और कार्रवाई कुछ नहीं हुई। सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि विभाग ने आम लोगों के पैसे की एफआईआर तक नहीं लिखवाई है।