मुख्यमंत्री विवाह योजना के तहत बीते 14 नवंबर को पीलीभीत में सामूहिक विवाह का आयोजन किया गया था। इस आयोजन में उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी मौजूद थे। एक ओर सीएम योगी भाषण दे रहे थे, दूसरी तरफ 500 जोड़ों का सामूहिक विवाह हो रहा था। इन्हीं जोड़ों के बीच पीलीभीत के मरौरी ब्लॉक के कल्याणपुर की रहने वाली एक विवाहिता सुशील देवी भी मौजूद थी। आरोप है कि उसने वहां अन्य युवक से दहेज के लालच में दूसरी शादी कर ली। हैरानी की बात ये है कि विवाहिता ने शादी से पहले अपने पति के सारे कागजात जमा किए। लेकिन अधिकारियों ने उन पर ध्यान नहीं दिया।
इस मामले में जानकारी देते हुए विवाहिता सुशील देवी के ससुरालीजनों ने बताया कि सुशील देवी की शादी 17 अप्रैल 2019 में पीलीभीत शहर के रहने वाले मोहित मौर्य के साथ हुई थी। दो महीने पहले सुशील अपने घर कल्याणपुर चली गई थी। बीते दो दिन पहले कल्याणपुर से उसके पति मोहित के पास गांव वालों का फोन आया कि उसकी पत्नी ने सामूहिक विवाह में दूसरी शादी कर ली है। दूसरी शादी की खबर सुनकर परिवार में हड़कंप मच गया।
आनन फानन में ससुराल पक्ष के लोग समाज कल्याण अधिकारी से मिले और मामले की जानकारी दी। इसके बाद मामले की जांच की गई तो देखा कि रजिस्ट्रेशन फॉर्म पर मोहित के कागज लगे हैं। महिला के ससुराल वालों का कहना है कि उसने सरकार की ओर से मिलने वाले दहेज के लालच में दूसरी शादी की है। पीड़ित परिवार ने इस मामले में न्याय की गुहार लगाई है। फिलहाल समाज कल्याण अधिकारी ने इस मामले में हुई चूक को लेकर पहले ADO ब्रजेश कुमार को ब्लॉक से हटा दिया। इसके बाद तथ्यों के आधार पर महिला के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने के आदेश दिए।