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Rajya Sabha Elections: एक बार फिर गुजरात में सियासी जंग चरम पर, कांग्रेस के 14 विधायक पहुंचे राजस्थान

पांच विधायकों को सड़क मार्ग से राज्स्थान के लिए रवाना किया कांग्रेस को निर्दलीय विधायक जिग्नेश मेवाणी से है समर्थन की उम्मीद तीन साल पहले भी गुजरात में बीजेपी और कांग्रेस के बीच देखने को मिला था टकराव

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Rajya Sabha

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नई दिल्ली। राज्यसभा के 55 सीटों के लिए चुनाव 26 मार्च को होना है। इस चुनाव के लिए गुजरात में भारतीय जनता पार्टी ( भाजपा ) की ओर से तीसरा उम्मीदवार मैदान में उतारे जाने के साथ कांग्रेस की धड़कनें बढ़ गई हैं। कांग्रेस को डर है कि कहीं उसके विधायक बीजेपी के पाले में न चले जाएं। इसलिए उसने शनिवार को अपने 14 विधायकों को इंडिगो फ्लाइट से राजस्थान के लिए रवाना कर दिया है। ताकि बीजेपी की जोड़तोड़ की राजनीति को पटखनी देना संभव हो सके।

ये हैं राजस्थान जाने वाले 14 विधायक

अहमदाबाद हवाईअड्डे से जयपुर जाने वाले 14 विधायकों में लखाभाई भरवाड़ (वीरमगाम), पूनम परमार (सोजित्रा), जिनीबेन ठाकुर (वाव), चंदनजी ठाकुर (सिद्धपुर), रित्विक मकवाना (चोटिला), चिराग कालरिया (जामजोधपुर), बलदेवजी ठाकुर, नाथाभाई पटेल, हिम्मतसिंह पटेल, इंद्रजीत ठाकुर, राजेश गोहिल, अजितसिंह चैहान, हर्षद रिबादिया और प्रद्युम्न सिंह जडेजा शामिल हैं। इसके अलावा पांच विधायकों को सड़क मार्ग से राजस्थान के लिए रवाना किया गया।

राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मीडिया से बातचीत में कहा है कि गुजरात में कांग्रेस विधायकों पर काफी दबाव है। बीजेपी धन और बाहुबल से राज्यसभा चुनाव को प्रभावित करना चाहती है। 182 सदस्यीय गुजरात विधानसभा में बीजेपी के पास 103, जबकि कांग्रेस के पास 73 विधायक हैं। राज्यसभा के उम्मीदवार को जीतने के लिए 37 वोटों की जरूरत होगी। दोनों पार्टियों के पास दो सीटें जीतने के लिए पर्याप्त ताकत है। कांग्रेस को उम्मीद है कि निर्दलीय विधायक जिग्नेश मेवाणी उनके उम्मीदवार के लिए ही वोट करेंगे।

2017 में कांग्रेस ने दी थी शाह को पटखनी

बता दें कि करीब तीन साल पहले गुजरात में तीन राज्यसभा सीटों के लिए हुए चुनाव में कांग्रेस के बीच सियासी टकराव की स्थिति उत्पन्न हुई थी। इस जंग में वरिष्ठ कांग्रेस नेता और कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के राजनीतिक सलाहकार अहमद पटेल ने बाजी मारी थी। उन्हें कुल 44 वोट मिले। बीजेपी की ओर से पार्टी अध्यक्ष अमित शाह और केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने भी जीत दर्ज की। दोनों को 46-46 वोट मिले थे। उस समय सियासी गलियारों में अहमद पटेल की जीत को बीजेपी के लिए झटका माना गया था। बीजेपी ने कांग्रेस से आए नेता बलवंत सिंह राजपूत को अहमद पटेल के खिलाफ उम्मीदवार बनाया गया था। बलवंत सिंह राजपूत को कुल 38 वोटों से संतोष करना पड़ा।अहमद पटेल की जीत से कांग्रेस को नई शक्ति मिली थी।