
CG Cyber Fraud: छत्तीसगढ़ के रायपुर सहित प्रदेशभर में साइबर ठगी लगातार बढ़ती जा रही है। हर चार-छह महीने में साइबर ठग अपना तरीका बदल लेते हैं। नए पैटर्न से ऑनलाइन ठगी करते हैं। इसमें सबसे बड़ा सवाल यह है कि ज्यादातर ठगों के पास जिनकों ठगते हैं, उनके बारे में काफी जानकारी रहती है। जैसे नाम, पता, मोबाइल नंबर, बैंक खाता नंबर आदि।
CG Cyber Fraud: यह जानकारी उन तक कैसे पहुंचती है? और कौन उसे दे रहा है? इस पर कोई काम नहीं हो रहा है। पूरा मामला डेटा लीक से जुड़ा है। जानकारों का कहना है कि किसी न किसी जगह से साइबर ठगों के पास आम लोगों का डेटा पहुंच रहा है। उसी की मदद से ऑनलाइन ठगी हो रही है। प्रदेश में वर्ष 2020 में साइबर क्राइम की शिकायतें 2295 थीं, जो बढ़कर 2024 में अक्टूबर तक 17 हजार से अधिक पहुंच गई हैं। इसमें 80 फीसदी ऑनलाइन ठगी की हैं।
सोशल मीडिया, इंटरनेट, ऑनलाइन फार्म आदि में मोबाइल नंबर, आधार नंबर, बैंक से जुड़ी जानकारियां देना सुरक्षित नहीं है। इससे महत्वपूर्ण जानकारियां साइबर ठगों तक पहुंचने की आशंका रहती है। इसके दुरुपयोग के कई मामले सामने आ चुके हैं।
रायपुर साइबर रेंज थाना मनोज नायक ने कहा की हर जगह अपने मोबाइल नंबर, आधार नंबर और बैंक से जुड़ी जानकारी देना उचित नहीं है। इससे बचना चाहिए। साइबर ठगों के पास कहीं न कहीं से डेटा आता है, जिसके चलते वे लोगों को झांसा देते हैं। इससे सावधान रहना चाहिए। लोगों को साइबर क्राइम को लेकर जागरूक होना चाहिए। साइबर ठगी के कई मामलों की जांच पुलिस कर रही है।
Published on:
16 Nov 2024 11:14 am
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