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गंदा काम करने वाले को दी ऐसी सजा, अब 20 साल रहेगा इस जगह

पॉक्सो न्यायालय ने नाबालिग से दुष्कर्म के आरोपी राजेन्द्र सिंह को 20 साल की सजा और 21 हजार रुपए जुर्माने से दंडि़त किया। आरोपी नाबालिग को बहला-फुसलाकर अपने साथ ले गया और उसके साथ बलात्कार किया। इससे वह गर्भवती भी हो गई थी।

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गंदा काम करने वाले को दी ऐसी सजा, अब 20 साल रहेगा इस जगह

राजसमंद पुलिस गिरफ्त में बलात्कार का आरोपी

नाबालिग बालिका को बहला-फुसलाकर, धमकाकर ले जाने व उसके साथ बलात्कार करने के आरोपी राजेंद्र सिंह को पॉक्सो न्यायालय के न्यायाधीश सुनील कुमार पंचोली ने 20 वर्ष के कठोर कारावास तथा 21,000 के जुर्माने की सजा से दंडित किया। विशिष्ट लोक अभियोजक राहुल सनाढ्य ने बताया कि 14 सितम्बर 2018 को पीडि़ता के पिता ने केलवा थानाधिकारी के समक्ष उपस्थित होकर एक रिपोर्ट पेश की। उसमें बताया कि उसकी 15 वर्षीय पुत्री सरकारी अस्पताल गई थी जो वापस नहीं लौटी। उसका फोन भी बंद आ रहा है। पुलिस ने प्रकरण पंजीबद्ध कर अनुसंधान पूर्ण कर पॉक्सो न्यायालय में अभियुक्त राजेंद्र सिंह के विरूद्ध आरोप पत्र प्रस्तुत किया।

19 गवाह और 31 दस्तावेज किए पेश
न्यायालय में विशिष्ट लोक अभियोजक सनाढ्य ने 19 गवाह तथा 31 दस्तावेज न्यायालय में पेश किए। न्यायालय में पीडि़ता ने बताया कि घटना वाले दिन वह उसके अंकल के लडक़े का जन्म प्रमाण पत्र लेने के लिए हॉस्पिटल गई। वहां राजेंद्र सिंह आया और उसे भीम में मेला दिखाने के लिए उसका मुंह बांधकर, जबरदस्ती मोटरसाइकिल पर बैठाकर लेकर गया। वहां से राजेंद्र सिंह उसे बस में अपने रिश्तेदार के घर दिल्ली ले गया। उसके साथ मारपीट की, वहां दो-तीन माह तक पीडि़ता को एक कमरे में बंद करके रखा और उसके साथ जबरदस्ती बलात्कार किया। वह फिर वापस ब्यावर लेकर आया एवं अपने रिश्तेदार के यहां छोडकऱ ट्रक चलाने चला गया। पीडि़ता को ब्यावर में राजेंद्र सिंह के रिश्तेदार के यहां पर पुलिस ने उसे दस्तायब किया। पीडि़ता के साथ बलात्कार के कारण उसके गर्भ ठहर गया था। न्यायालय के आदेश से उदयपुर अस्पताल में गर्भपात भी करवाया।

इन धाराओं में किया दंडि़त
न्यायालय में दोनों पक्षों की बहस सुनने के पश्चात अभियुक्त राजेंद्र सिंह पिता किशन सिंह निवासी रोहिडा खेड़ा पुलिस थाना जवाजा को दोषसिद्ध घोषित किया। आरोपी को धारा 363 भारतीय दंड संहिता- 01 वर्ष का कठोर कारावास तथा 1000 रुपए जुर्माना, धारा 5(द्य)/6 पॉक्सो एक्ट के अंतर्गत दोषी मानते हुए 20 वर्ष के कठोर कारावास तथा 20,000 जुर्माने की सजा से दंडित किया गया। साथ ही न्यायालय ने पीडि़ता को 2,00,000/- प्रतिकर राशि बतौर क्षतिपूर्ति दिलाए जाने का आदेश प्रदान किया।