स्वार विधानसभा उपचुनाव में समाजवादी पार्टी ने अनुराधा चौहान को अपना उम्मीदवार बनाया है। स्वार सीट सपा का गढ़ मानी जाती है।
साल 2022 में स्वार से सपा ने आजम के बेटे अब्दुल्ला आजम को टिकट दिया था। अब्दुल्ला आजम चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे। साल 2017 और 2022 में सपा के खाते में स्वार सीट गई। दोनों ही बार अब्दुुल्ला आजम की विधायकी चली गई। दिसंबर 2019 में हाईकोर्ट के आदेश के बाद उनकी विधायकी चली गई थी। जब साल 2017 के विधानसभा चुनाव के दौरान जीते अब्दुल्ला पर बसपा से चुनाव लड़ने वाले नवाब काजिम अली खां उर्फ नवेद मियां ने हाईकोर्ट में एक याचिका दायर की थी।
अब्दुल्ला आरोप लगाते हुए कहा था कि जब उन्होंने नामांकन दाखिल किया था तो उस वक्त उनकी उम्र कम थी, जो न्यूनतम आयु की शर्त को पूरा नहीं करते थे। जिसके बाद हाईकोर्ट ने उनके निर्वाचन को रद्द कर दिया था। अब्दुल्ला हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट पहुंचे तो वहां से भी निराशा हाथ लगी।
दो साल की सजा होने पर अब्दुल्ला आजम की चली गई विधायकी
इसके बाद 2023 में अब्दुल्ला को मुरादाबाद कोर्ट ने 15 साल पुराने एक मामले में 2 साल की सजा सुनाई। इसके बाद दूसरी बार उनकी विधायकी चली गई। चुनाव आयोग ने इस सीट पर उपचुनाव का एलान कर दिया था। उपचुनाव के लिए नामांकन दाखिल करने की आखिरी तारीख 20 अप्रैल थी।
सपा ने अनुराधा चौहान को बनाया उम्मीदवार
20 अप्रैल को दोपहर बाद तक सपा ने अपने प्रत्याशी का नाम का एलान नहीं किया था। नामांकन दाखिल किए जाने के कुछ मिनट पहले ही सपा ने अनुराधा चौहान को अपना प्रत्याशी घोषित कर दिया। नाम का ऐलान होते ही अनुराधा चौहान नामांकन पत्र दाखिल करने पहुंचीं।
पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ेंगी अनुराधा चौहान
अनुराधा पहली बार विधानसभा का चुनाव लड़ने जा रही हैं। अनुराधा ने अपने राजनीतिक सफर की शुरूआत ग्राम प्रधान चुनाव से की थी। वह सरकथल ग्राम पंचायत की प्रधान रह चुकी हैं। अभी वर्तमान में जिला पंचायत की सदस्य हैं।