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ज्योतिष के अनुसार श्री लक्ष्मी नारायण की पूजा लंबी आयु, स्वास्थ्य, समृद्धि और व्यापार सफलता व भौतिक सुख-सुविधा पाने के लिये की जाती है। लोग अकसर इन सभी सुखों को पाने के लिये लक्ष्मी जी की पूजा करते हैं, लेकिन पंडित रमाकांत मिश्रा नें बताया कि लक्ष्मी जी कभी नारायण के बिना नहीं आती हैं। इसलिये मां लक्ष्मी की कृपा पाना चाहते हैं तो उनके साथ भगवान विष्णु की पूजा जरुर करें। यानी हर सुख मनोकामना के लिये लक्ष्मी नारायण की पूजा करें।
लक्ष्मी नारायण की पूजा से विष्णु-लक्ष्मी की पूजा का फल प्राप्त होता है। लेकिन पूजा के अलावा भी लक्ष्मी नारायण को प्रसन्न किया जा सकता है। ज्योतिष शास्त्र में कुछ ग्रहों की पूजा करके हम लक्ष्मीनारायण को प्रसन्न कर सकते हैं। साथ ही कुछ छोटी-छोटी बातों को ध्यान में रखकर लक्ष्मी नारायण से मनोकामना पूर्ति का आशीर्वाद पा सकते हैं...
घर में अन्न और धन बढ़ाने का महाउपाय-
- शुक्ल पक्ष के शुक्रवार के दिन शाम के समय स्नान करके एक लकड़ी के पाटे पर एक लाल कपड़ा बिछाएं और उस पर लक्ष्मी-नारायण की फोटो या मूर्ति स्थापित करें और गाय के घी का दीपक जलाएं। इसके बाद स्वयं लाल आसन पर बैठकर स्फटिक की माला से ॐ दारिद्रध्वंसनी नमः मंत्र का तीन माला जाप करें। बैठते समय इस बात का ध्यान रखें की आपका मुंह उत्तर या पूर्व दिशा की तरफ रखें। जाप के बाद भगवान लक्ष्मीनारायण को गुलाब का इत्र जरुर अर्पण करें।
इन ग्रहों की पूजा करने से प्रसन्न होते हैं लक्ष्मीनारायण
ज्योतिषशास्त्र के अनुसार चंद्रमा और शुक्र स्त्री ग्रह माने गये हैं और इनकी पूजा करने से महालक्ष्मी प्रसन्न होती हैं उनकी विशेष कृपा प्राप्त होती है। तो अगर आप अपनी कुंडली में चंद्रमा और शुक्र की स्थिति को देखते हुए उन्हें प्रसन्न करें। चंद्रमा और शुक्र को प्रसन्न करने के लिये अपनी रसोई दक्षिण पूर्वी भाग में बनवायें। घर में कभी काले और नीले रंग का उपयोग ना करें। इसके साथ ही महिलायें घर की दक्षिण पूर्वी दिशा में एक दीया जरूर जलाएं। जल्द ही परिणाम दिखने लगेंगे। लेकिन ध्यान रहे की अपनी जन्म कुंडली में ग्रहों की स्थिति के बारे में किसी विशेषज्ञ से जरुर चर्चा कर लें।
घर में ना करें ये गलतियां, अनजाने में आती है दरिद्रता
- हमेशा अपने घर की महिलाओं का सम्मान करें। क्योंकि इन्हें घर की लक्ष्मी कहा जाता है। वहीं ज्योतिष की दृष्टि से यदि आप घर की महिलाओं का सम्मान नहीं करते तो शुक्र और चंद्रमा की अशुभता बनती है। जो की घर में दरिद्रता का कारण बनती हैं।
-आप हर रोज रात्रि में देर तक जागते हैं और सुबह देर से ही उठते हैं इससे भी शनि और चंद्रमां का दुष्प्रभाव आने के कारण घर में दरिद्रता आने लगती है।
Updated on:
04 Nov 2019 12:26 pm
Published on:
04 Nov 2019 12:12 pm
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