scriptराजस्थान: गोशाला में 150 गायों की हत्या ! एक साथ इतनी लाशें देख फट पड़ा कलेजा | 150 cows died in Cow shed dead body threw in beed rajasthan sikar | Patrika News
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राजस्थान: गोशाला में 150 गायों की हत्या ! एक साथ इतनी लाशें देख फट पड़ा कलेजा

खौफनाक मंजर। दर्जनों मृत गाय ( 150 Cows Died in Cow shed in Sikar ) ढेरों में पड़ी हुई दिखाई दी। वाहन चालक मुंह पर हाथ रख कर निकलते हुए दिखाई दे रहे थे। यह नजारा सालासर रोड पर गोपीनाथ गौशाला से महज 50 मीटर की दूरी पर देखने को मिला। गोशाला की ओर जाने वाले कच्चे रास्ते में दाएं और बाएं बीड़ के अंदर सौ से डेढ़ सौ पशु अलग-अलग ढेरों में मृत अवस्था में दिखाई दिए। जिन्हें आवारा जानवर नोंच-नोंच कर खा रहे थे।

सीकरDec 24, 2019 / 11:46 am

Naveen

राजस्थान: गोशाला में 150 गायों की हत्या ! एक साथ इतनी लाशें देख फट पड़ा कलेजा

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विक्रम सिंह सोलंकी, सीकर.

खौफनाक मंजर। दर्जनों मृत गाय ( 150 cows Died in cow shed in Sikar ) ढेरों में पड़ी हुई दिखाई दी। वाहन चालक मुंह पर हाथ रख कर निकलते हुए दिखाई दे रहे थे। यह नजारा सालासर रोड पर गोपीनाथ गौशाला से महज 50 मीटर की दूरी पर देखने को मिला। गोशाला की ओर जाने वाले कच्चे रास्ते में दाएं और बाएं बीड़ के अंदर सौ से डेढ़ सौ पशु अलग-अलग ढेरों में मृत अवस्था में दिखाई दिए। जिन्हें आवारा जानवर नोंच-नोंच कर खा रहे थे।

राजस्थान पत्रिका ने पूरे मामले की पड़ताल की तो इलाके की गोशालाओं में रोजाना पशुओं के मरने की बात सामने आई। पास में ही मोहन कॉलोनी के लोगों से पता लगा कि गोशाला में रोजाना सर्दी से बीमारी के कारण चार से पांच पशु मर रहे हैं।


रोजाना पशुओं की टांग को बांध घसीट कर उन्हें बीड़ के अंदर ले जाकर फेंक देते हैं। ऐसे में मृत पशुओं के कारण फैल रही बदबू से लोगों का भी जीना मुहाल हो गया है। लोगों ने दबे स्वर में बताया कि गोशाला में बीमार पशुओं की देखभाल के लिए डॉक्टर भी नहीं है। मरने के बाद रात के अंधेरे में लाकर बीड के अंदर ले जाकर फेंक देते हैं।


पत्रिका टीम ने सोमवार शाम को हकीकत जानने के लिए इलाके की गोशालाओं की तरफ ओर रूख किया। गोपीनाथ गोशाला के व्यवस्थापक सांवरमल ने कहा कि यहां तो सब कुछ ठीक चल रहा है। इसके बाद चारे का स्टोर रूम भी दिखाया। बोले कि अभी गोशाला में कोई पशु मरा नहीं है, सुबह का कोई पता नहीं है। बाहर बीड़ में इस बारे में पूछा तो बोले कि पहले ठेकेदार खाल व हड्डियों के लालच में मृत गायों को ले जाता था। केन्द्र सरकार ने बैन लगा दिया है। ये हमारे पशु नहीं है।


तीन गाय एक दिन पहले मरी
गोपीनाथ गोशाला में एक दिन पहले भी तीन गायों की बीमारी के कारण मौत हुई। पत्रिका टीम के कै मरे में भी मरी हुई गायों की तस्वीर कैद हुई। गायों के बाड़े में सामने ही एक गाय मरी देखी। गोशाला में एक कर्मचारी से पूछताछ की। दबे हुए स्वर में बताया कि साहब अंदर तीन गाय मरी हुई हैं। हम क्या करें।

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राजस्थान: गोशाला में 150 गायों की हत्या ! एक साथ इतनी लाशें देख फट पड़ा कलेजा

अभी कोई पशु मरा नहीं है, सुबह का कोई पता नहीं है। इलाके की दूसरी गोशाला की गायें मर रही हैं। वो ट्रेक्टर में लाकर हमारे यहां डाल रहे है। एक बार हमने भी पकड़ लिया था। बाद में उसे यहां डालने से मना किया था। बोले सुबह इन्हें जेसीबी से गड्ढा खोद कर दबा देंगे। -सांवरमल, गोशाला व्यवस्थापक


अगर बीमारी के कारण पशु की मौत हो जाती है तो मृत पशुओं को गड्ढा खोद कर दबाया जाए, जिससे संक्रमण फैलने का डऱ नहीं रहे। खुले में मृत पशुओं को डाला जाता है तो बीमारी फैलने का अंदेशा बना रहता है।


सडक़ के किनारे गोशाला वाले डाल जाते हंै। बीड के अंदर गायों को रात के समय एक गोशाला वाले डाल देते हैं।- राजकुमार, मोहन कॉलोनी


बीड़ में बकरी चराता हूंा। चार-पांच गाय रोजाना मर रही हैं। गोशाला वाले बीड़ में डाल कर जाते हैं। – धर्मेंद्र


गाय सर्दी से बीमारी के कारण मर रही है। गायों को बीड़ के अंदर रात के समय में डाल जाते हैं। -मुन्नी देवी, मोहन कॉलोनी


रोजाना चार-पांच गाय मर रही हैं, कालोनी के लोग बोले बदबू के कारण हवा में संक्रमण फैल रहा है। कुत्ते भी मांस खाकर खूंखार हो रहे हंै। बच्चों को काटने के लिए दौड़ते हैं। गोशाला में चेजा का काम करता हूं। सर्दी के कारण बीमारी से पशु मर रहे हैं। आज भी तीन गाय मर गई थी। ऐसे खुले में डालना नहीं चाहिए। – साबिर, चेजा मिस्त्री


बीड़ में अंदर ढेऱों में गाय मरी हुई है। सडक़ किनारे व बीड़ के अंदर मरी हुई गायों को गोशाला वाले डाल जाते है।
– अशोक

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