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एक निजी जांच लैब, छह मेडिकल स्टोर और एक निजी अस्पताल आरजीएचएस से बाहर

493 लाभार्थियों के विरुद्ध कार्ड के दुरुपयोग के आधार पर अनुशासनात्मक कार्यवाही के लिए संबंधित विभाग को प्रकरण भेजे गये हैं।

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जयपुर

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Vikas Jain

Dec 18, 2025

RGHS Big Update New Hospitals Registration Stopped Patients Upset

फाइल फोटो पत्रिका

जयपुर. चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की ओर से सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए संचालित राजस्थान गवर्नमेंट हेल्थ स्कीम (आरजीएचएस) के अंतर्गत अनियमितताएं सामने आने पर बीकानेर में निजी डायग्नोस्टिक लैब को डी-पैनल कर दिया गया है। इसके अलावा प्रदेश के 6 कॉनफेड मेडिकल स्टोर एवं 1 निजी अस्पताल को भी योजना से निलंबित कर दिया गया है। अनियमितता व धोखाधड़ी करने पर विभाग ने एक साल में 10 मामलों में संबंधित फार्मेसी, चिकित्सक व लाभार्थियों के विरुद्ध पुलिस थाने में प्राथमिकी दर्ज करवाई है।

गंभीर अनियमितता व धोखाधड़ी के 61 मामलों में कार्मिक को सेवा से निलंबित करने के लिए संबंधित विभागाध्यक्ष को लिखा गया है। इनमें से 23 कार्मिकों एवं 7 चिकित्सकों को निलंबित किया गया है। 11 चिकित्सकों के विरुद्ध कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। 493 लाभार्थियों के विरुद्ध कार्ड के दुरुपयोग के आधार पर अनुशासनात्मक कार्यवाही के लिए संबंधित विभाग को प्रकरण भेजे गये हैं। इनमें से पुलिस विभाग के 137, स्कूल शिक्षा विभाग के 258, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के 60, जयपुर विद्युत वितरण निगम के 23 एवं आयुर्वेद विभाग के 15 कार्मिक सम्मिलित हैं।

बड़े स्तर पर हुआ एक्शन

अप्रेल 2025 से अब तक 159 अनुमोदित निजी चिकित्सालयों को योजना से निलंबित कर टीएमएस आइडी ब्लॉक की गई है। 5 अस्पतालों को योजना से डी-पैनल किया गया है। आवश्यक सुनवाई कर अस्पतालों के विरुद्ध 26.12 करोड़ रुपए की पैनल्टी लगाई गई, जिसमें से 25.07 करोड़ रुपए की वसूली की जा चुकी है। वर्तमान में 65 निजी चिकित्सालय योजना से निलंबित हैं जिनके विरुद्ध कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। योजना में वित्त वर्ष 2024-25 में 4 290 करोड़ रुपए की राशि स्वीकृत हुई। इस योजना में प्रतिदिन औसत 45 हजार से अधिक दावे प्राप्त हुए हैं। वर्ष 2025-26 में अस्पतालों को 1260 करोड़ रुपए एवं फार्मेसीज को 932 करोड़ रुपए का भुगतान किया गया है।

अनियमितता एवं धोखाधड़ी के प्रकरणों में 137 फार्मेसी को निलंबित कर उनकी टीएमएस आईडी ब्लॉक की गई है। कैशलेस दवा वितरण से इन्कार करने के कारण 411 फार्मेसी स्टोर एवं ड्रग लाइसेंस लैप्स हो जाने के कारण 944 फार्मेसी स्टोर को निलंबित किया गया है। मेडिकल स्टोर्स के विरुद्ध 39.79 लाख रुपए की पैनल्टी लगाई गई है। जिसमें से 35.42 लाख रुपए की वसूली की जा चुकी है। अप्रेल 2025 से अब तक 4 लैब एवं डायग्नोस्टिक सेंटर को भी योजना से निलंबित किया गया है। अनियमितताओं में संलिप्त आरजीएचएस कार्डधारकों के विरुद्ध कार्रवाई करते हुए 1032 लाभार्थियों के कार्ड ब्लॉक किये गये हैं।