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ACPC : बिना प्रवेश परीक्षा वाले विद्यार्थियों से भरनी पड़ेंगी MBA-MCA सीटें

सूरत. गुजरात के एमबीए-एमसीए पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए शुरू की गई पंजीकरण प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। पंजीकरण के जो आंकड़े सामने आए हैं, उससे प्रवेश समिति के साथ कॉलेज संचालक चिंतित हैं। 23 हजार सीटों के लिए मात्र 6,300 विद्यार्थियों ने ही पंजीकरण करवाया है। इसे देखते हुए इस साल भी बिना प्रवेश परीक्षा वाले विद्यार्थियों से ही सीटें भरने की नौबत आ गई है।

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ACPC : बिना प्रवेश परीक्षा वाले विद्यार्थियों से भरनी पड़ेंगी MBA-MCA  सीटें

ACPC : बिना प्रवेश परीक्षा वाले विद्यार्थियों से भरनी पड़ेंगी MBA-MCA सीटें

इन दिनों गुजरात के एमबीए-एमसीए पाठ्यक्रम में प्रवेश प्रक्रिया चल रही है। प्रवेश समिति ने सीमेट परीक्षा देने वाले विद्यार्थियों को ही पंजीकरण करने की सूचना दी थी। पंजीकरण आंकड़े चर्चा का विषय हैं। मात्र 6,323 विद्यार्थियों ने ही पंजीकरण करवाया है। इससे साफ जाहिर हो रहा है की सीमेट देने वाले विद्यार्थी कम होते जा रहे हैं।

- निजी विश्वविद्यालय बने सिरदर्द :
कॉलेज संचालकों का कहना है कि राज्य में नए निजी विश्वविद्यालयों की संख्या साल दर साल बढ़ती जा रही है। इनमें एमबीए और एमसीए का पाठ्यक्रम भी शुरू किया जा रहा है। हाल प्रदेश में 17 नए कॉलेजों को मान्यता मिली है, इनमें कई निजी विश्वविद्यालय से जुड़े हुए हैं। एमबीए में 1,469 और एमसीए में 1,076 नई सीटों को मंजूरी दी गई है। संचालकों का कहना है कि सीटों को भरने के लिए पिछले कई सालों से बिना प्रवेश परीक्षा वाले विद्यार्थियों को प्रवेश दिया जा रहा हैं। जब बिना प्रवेश परीक्षा के ही प्रवेश मिल रहा हो तो, कोई प्रवेश परीक्षा क्यों दे? सीटें भरने के चक्कर में प्रवेश परीक्षा का महत्व शून्य हो रहा है। अब 17 हजार से अधिक रिक्त सीटों को भरने के लिए प्रवेश परीक्षा नहीं ली जाएगी। इसके बावजूद भी पूरी सीटें भरना असंभव दिख रहा है।