
टोंक। एसडीएम को थप्पड़ मारने के आरोप में जेल में बंद नरेश मीणा की वजह से समरावता गांव एक बार फिर चर्चा में हैं। दरअसल, समरावता में हुए थप्पड़ कांड को 13 जनवरी को तीन महीने पूरे हो जाएंगे। घटना के अगले दिन नरेश मीणा को गिरफ्तार कर लिया गया था। पिछले दिनों नरेश मीणा की रिहाई के लिए महापंचायत बुलाई गई थी। इस दौरान समर्थकों ने नरेश मीणा की रिहाई की मांग की थी।
अब समरावता के ग्रामीणों ने गांव में ही नरेश मीणा के नाम पर एक बोर्ड लगा दिया है। जिस पर लिखा है, "नरेश भाई का समरावता"। बोर्ड पर नीचे भगत सिंह लिखा है। सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो और तस्वीरों में यूजर्स की ओर से कहा जा रहा है कि नरेश मीणा थप्पड़ कांड से चर्चा में रहा समरावता गांव अब "नरेश भाई का समरावता" नाम से जाना जाएगा!
गौरतलब है कि समरावता गांव में हुए थप्पड़ कांड में आगजनी और तोड़फोड़ की खबरें सामने आई थी। इस मामले में पुलिस ने नरेश मीणा समेत कुल 62 लोगों को गिरफ्तार किया था। पूरे मामले की सुनवाई टोंक जिला एवं सत्र न्यायालय में चल रही है। इसी बीच समरावता कांड में 38 आरोपियों की जमानत को लेकर हाईकोर्ट में याचिका दायर की गई थी।
3 जनवरी को हाईकोर्ट ने बड़ी राहत देते हुए उनकी जमानत याचिका स्वीकार कर ली थी। 6 जनवरी को टोंक जिला एवं सत्र न्यायालय ने अन्य 18 आरोपियों की जमानत याचिका स्वीकार करते हुए उन्हें राहत प्रदान की थी। अब इस मामले में केवल नरेश मीणा ही जेल में है।
जमानत मिलने के बाद जेल से बाहर आए नरेश मीणा के एक समर्थक ने कहा कि अभी तक हमने भगत सिंह के संघर्षों के बारे में सिर्फ किताबों में पढ़ा था लेकिन हमने खुद जेल में रहकर उनके संघर्षों को जिया है। उन्होंने कहा कि जेल में रहकर हम और मजबूत हुए हैं। समर्थक ने कहा कि सरकार ने हमें बिना किसी कारण के 50 दिन से ज्यादा जेल में रखा, अगर नरेश मीणा को जल्द रिहा नहीं किया गया तो आने वाले दिनों में पूरे राजस्थान में बड़ा आंदोलन किया जाएगा।
Published on:
09 Jan 2025 04:47 pm
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