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पिछोला झील या घास का मैदान !

नगर निगम : डी-विडिंग मशीन का संचालन डेढ माह से बंद, जलीय वनस्पति एल्गी से अटा कुम्हारिया तालाब

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पिछोला झील या घास का मैदान !

नगर निगम : डी-विडिंग मशीन का संचालन डेढ माह से बंद, जलीय वनस्पति एल्गी से अटा कुम्हारिया तालाब

नगर निगम की ओर से पिछोला झील में डी-विडिंग मशीन के जरिए सफाई का कार्य पिछले करीब डेढ माह से बंद है। इससे झील में जलीय वनस्पती का फैलाव बढ़ने लगा है। कुम्हारिया तालाब के हालात तो ऐसे हो गए हैं मानो यह हरी घास का कोई मैदान हो।निगम की ओर से पिछोला झील में से जलीय खरपतवार निकालने वाली डी-विडिंग मशीन के संचालन का अनुबंध जनवरी माह में समाप्त हो गया है। वहीं डी-विडिंग मशीन भी खराब हो रही है। ऐसे में अब तक झील की सफाई मजदूरों के माध्यम से कराई जा रही है। लेकिन झील काफी बड़ी होने से यह कार्य केवल श्रमिकों के माध्यम से संभव नहीं है। पिछोला झील में आठ से ज्यादा तरह की जलीय खरपतवार है। जो मौसम में परिवर्तन के साथ घटती बढती रहती है। इन दिनों मौसम में बदलाव के साथ जैसे ही तापमान में वृद्धि हुई जलीय खरपतवार का विस्तार होना शुरू हो गया। इन दिनों पूरे रंग सागर व स्वरूप सागर झील में जलीय वनस्पती दिखने लगी है। सबसे ज्यादा एल्गी नामक वनस्पति ने पूरे कुम्हारिया तालाब को घेर लिया है।

नाक-मुंह सिकोड़ने लगे पर्यटक

पिछोला झील में बढ़ रही गंदगी से अब पर्यटक भी नाक मुंह सिकोड़ने लगे हैं। चाहे अमराई घाट हो या नई पुलिया का छोर झील के किनारों पर बड़ी तादाद में गंदगी और खरपतवार नजर आ रही है। अमराई घाट का किनारा पॉलीथिन व जलीय वनस्पती से अटा है।

34.50 लाख में होगी मशीन की मरम्मत

गत 4 मार्च को हुई नगर निगम की प्रशासनिक समिति की बैठक में नई डी-विडिंग मशीन क्रय करने का प्रस्ताव लिया जा चुका है। लेकिन नई मशीन आने में काफी वक्त लगेगा, तब तक उदयपुर शहर की झीलों से खरपतवार निकालने की डी-वीडिंग मशीन की मरम्मत करवाने का प्रस्ताव रखा गया। जिसकी लागत लगभग 34.50 लाख रुपए है। कार्यकारी एजेंसी की ओर से उस मशीन का 5 वर्ष तक मेंटेनेंस भी किया जाएगा। नई डिवाइडिंग मशीन आने तक मशीन की मरम्मत करवाने का निर्णय किया जा चुका है।

डी-विडिंग मशीन की रिपेयरिंग के टेंडर कर दिए गए हैं। जल्द ही इसे ठीक करवाकर झील की सफाई का कार्य शुरू करवाया जाएगा। वहीं एक नई मशीन खरीदने का प्रस्ताव भी लिया जा चुका है। इसके लिए भी शीघ्र निविदा प्रक्रिया शुरू करवाएंगे।

- मनोहर चौधरी, अध्यक्ष, गैराज समिति, नगर निगम, उदयपुर

डी-विडिंग मशीन से झील की सतह पर तैरती जलीय खरपतवार को हटाया जाना चाहिए। मशीन में कुछ आवश्यक मरम्मत की दरकार है। इसका इंजन गत वर्ष ही नया लगा है। कुछ टूट फूट रिपेयरिंग कर नगर निगम अपने स्तर पर यह मशीन चलाए तो दो लाख रुपए से कम खर्च पर चल सकती है। यदि मशीन से जलीय खरपतवार समय रहते नहीं निकाली गई तो आने वाली गर्मी में पूरी झील में फैल जाएगी।

- तेज शंकर पालीवाल, पूर्व सदस्य, झील विकास प्राधिकरण