
जेल से अस्पताल पहुंचते ही पीडि़त और गवाहों को फोन पर धमका रहा रौनक गुर्र्जर
उज्जैन. इंदौर से सागर जेल शिफ्ट किए बदमाश रौनक गुर्जर द्वारा मोबाइल से धमकाने का मामला सामने आया है। गुर्जर को जेल से मेडिकल कॉलेज भेजा गया था, वहां पहुंचते ही उसने उज्जैन के पीडि़तों को धमकी देना शुरू कर दिया। शिकायत होने पर पुलिस ने इस बात की जांच शुरू कर दी है कि रौनक के पास मोबाइल कैसे और किसने पहुंचाया। संदेह के घेरे में अस्पताल में उसकी सुरक्षा में लगे जवानों पर है।
गौरतलब है कि गुर्जर गैंग का सदस्य रौनक उज्जैन का निगरानीशुदा बदमाश है। उस पर हत्या के प्रयास, अड़ीबाजी, लूट, अपहरण समेत कई धाराओं के मुकदमे हैं। उसकी गिरफ्तारी के दौरान मुठभेड़ होने पर एसपी सचिन अतुलकर ने गोली चलाई थी, जो उसके पैर में लगी थी। रौनक को पहले इंदौर जेल में रखा गया था और रासुका की कार्रवाई की गई थी। बाद में उसे सागर जेल भेज दिया गया। यहां उसने अपना नेटवर्क तैयार कर लिया है। बताया गया है कि उज्जैन निवासी पीडि़त और गवाहों को जान से मारने की धमकी उसने मोबाइल फोन पर दी थी। इससे घबराए पीडि़त पक्ष ने उज्जैन एसपी सचिन अतुलकर से शिकायत की, जिसके बाद सागर में बदमाश के मददगार पुलिसकर्मी की तलाश की जा रही है। जेल और पुलिस के पहरे के बीच मोबाइल का उपयोग करने से की हरकत ने मेडिकल कॉलेज स्थित जेल वार्ड पर तैनात पुलिस लाइन के सुरक्षा गार्ड पर सवाल खड़े हो गए हंै। वहीं उज्जैन एसपी तक शिकायत पहुंचने के बाद जेल प्रबंधन बीएमसी से रौनक की छुट्टी कराने में जुट गया है।
पुलिस की मौजूदगी में दे रहा धमकी
चिमनगंज थाना क्षेत्र स्थित सांदीपनि नगर ढांचा भवन निवासी राहुल उर्फ मोंटू गुर्जर ने गुरुवार को उज्जैन एसपी से रौनक द्वारा सागर जेल से मोबाइल पर धमकाने की शिकायत की है। राहुल की शिकायत के अनुसार रौनक गुर्जर ने उसकी हत्या का प्रयास किया था। इस मामले में उस पर केस भी दर्ज है। सागर केंद्रीय जेल में सुरक्षा के बीच बंद होने के बाद भी रौनक लगातार मोबाइल से कॉल कर रहा है। वह बार-बार मामला वापस लेने के लिए गवाह और उस पर दबाव बनाकर जान से मारने की धमकी दे रहा है।
सुरक्षाकर्मियों की भूमिका पर संदेह
केंद्रीय जेल सूत्रों के अनुसार कुछ दिन पहले ही रौनक गुर्जर ने अपने सूत्रों का फायदा उठाकर स्वयं को मेडिकल कॉलेज के जेल वार्ड में शिफ्ट करा लिया था। बदमाश रौनक पर हत्या का प्रयास, अवैध वसूली व लोगों में दहशत फैलाने के अपराध दर्ज हैं। ऐसे में केंद्रीय जेल से उसे मेडिकल कॉलेज के जेल वार्ड में शिफ्ट कराने व पुलिस के पांच-पांच सुरक्षा गार्ड के बीच किसी उज्जैन में लोगों को धमकाने के लिए मोबाइल उपलब्ध कराने वाले मददगार की भूमिका संदेह के घेरे में है। आरआई रणजीत सिंह सिकरवार, सागर के अनुसार जेल वार्ड पर एक हवलदार व चार आरक्षक तैनात रहते हैं। रौनक को किसने मोबाइल उपलब्ध कराया अभी वे नहीं कह सकते लेकिन उज्जैन पुलिस से पत्र मिलने पर तारीख व समय के आधार पर जिम्मेदारी तय कर संबंधित गार्ड पर कार्रवाई करेंगे।
Published on:
11 Oct 2019 06:00 am
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