
Locks hanging in many Hanuman temples of the city, darshan from outside
विदिशा. लॉक डाउन के चलते हनुमान जयंती पर पहली बार देखने को मिला कि शहर के अनेक हनुमान मंदिरों में ताले लटके रहे और श्रद्धालु बाहर से ही दर्शन कर चलते बने। वहीं कई मंदिरों के बाहर तो पुलिस का सख्त पहरा रहा, जिससे कि मंदिर के बाहर भक्तों की भीड़ एकत्रित नहीं हो जाए।
वहीं कई मंदिरों में सुबह के समय एक-एक कर श्रद्धालुओं को दर्शन के लिए कुछ समय की छूट दी गई। इसके बाद दिनभर ताले लटके रहे। हनुमान मंदिरों में सुबह चार बजे से मंदिर पुजारियों द्वारा भगवान का पूजन-अर्चन कर आरती आदि धार्मिक अनुष्ठान किए गए। झील वाले कुआ स्थित हनुमान मंदिर के पुजारी राजू दुबे महाराज ने बताया कि सुबह चार बजे से वे भगवान के पूजन-अर्चन में लग गए थे। वहीं हर बार होने वाले आयोजनों को लॉकडाउन के चलते स्थगित किया गया।
रंगई मंदिर पर इस बार नहीं लगीं कतारें
रंगई स्थित हनुमान मंदिर में जहां हनुमान जयंती पर सड़क पर भक्तों की लंबी-लंबी कतारें देखने को मिलतीं थीं, वहीं इस बार मंदिर के सभी प्रवेश द्वार पर ताले लटके हुए थे और बाहर आधा दर्जन पुलिसकर्मियों की ड्यूटी लगी हुई थी। जो मंदिर आने वाले श्रद्धालुओं को सामाजिक दूरी बनाए रखकर बाहर से ही दर्शन करने दे रहे थे और किसी को भी ज्यादा देर तक वहां नहीं रूकने दे रहे थे। यहां श्रद्धालुओं के आने का सिलसिला तो दिनभर चला, लेकिन कुछ पल से ज्यादा किसी को नहीं रुकने दिया गया। इस कारण यहां भीड़ ही एकत्रित नहीं हो पाई। वहीं प्रसाद, फूलमाला आदि की दुकानें भी नहीं लगीं थीं। यही स्थिति शहर के लगभग अनेकों मंदिरों में देखने को मिली।
यहां खुले रहे मंदिर
बहराबाबा घाट, महल घाट सहित शहर के कुछ मंदिर सुबह के समय खुले रहे। मंदिर पुजारियों द्वारा भगवान का पूजन-अर्चना की गई और सुबह के समय मंदिर आने वाले श्रद्धालुओं को एक-एक कर भगवान के दर्शन कराए गए।
Published on:
09 Apr 2020 03:02 am
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