scriptयही है वह पहाड़ जिसे उठाकर लाए थे हनुमान जी, आज भी यहां मौजूद है भगवान शिव के पैरों के निशान | This mountain is related with Ramayana is known as Adams peak | Patrika News
अजब गजब

यही है वह पहाड़ जिसे उठाकर लाए थे हनुमान जी, आज भी यहां मौजूद है भगवान शिव के पैरों के निशान

इस पहाड़ को रामायण काल से जोड़ा जाता है, कहा जाता है कि यही वह पहाड़ है जिसे हनुमान जी संजीवनी बूटी के लिए उठाकर लाए थे।

Aug 02, 2018 / 02:58 pm

Arijita Sen

Adams peak

यही है वह पहाड़ जिसे उठाकर लाए थे हनुमान जी, आज भी यहां मौजूद है भगवान शिव के पैरों के निशान

नई दिल्ली। हमारी दुनिया रहस्यों से घिरी हुई है। आज भी कई सारी ऐसी जगहें और ऐसी चीजें हैं जिनके रहस्यों का पर्दाफाश अब तक संभव नहीं हो पाया है।

आज हम आपको एक ऐसे ही स्थान के बारे में बताएंगे जो भारत के पड़ोसी देश श्रीलंका में स्थित है जिसे एडम्स पीक या श्रीपदा के नाम से भी जाना जाता है। यह एक पहाड़ है जिसे रामायण काल से जोड़ा जाता है।

इस पहाड़ के संबंध में विभिन्न धर्मो में कई मान्यताएं वर्णित हैं, लेकिन बात यदि हिंदू धर्म के बारे में करें तो ऐसा माना जाता है कि इस पहाड़ पर बने मंदिर में भगवान शिव के पैरों के निशान है।

रहुमाशाला कांडा
बता दें, यह पहाड़ रतनपुर जिले में स्थित है और समनाला माउंटेन रेंज का हिस्सा है। घने जंगलों में स्थित यह पहाड़ स्थानीय लोगों में रहुमाशाला कांडा के नाम से प्रसिद्ध है। इस पहाड़ पर बने मंदिर में भगवान शिव के पैरों के निशान है। यहां लोगों की ऐसी मान्यता है कि मानव जाति को अपना दिव्य प्रकाश देने के लिए इस स्थान पर भगवान शिव प्रकट हुए थे इसलिए इस स्थान को सिवानोलीपदम या शिव का प्रकाश भी कहा जाता है।

करीब 2200 मीटर की ऊचांई पर स्थित इस पहाड़ की एक और खासियत है और वह ये कि यहां कीमती पत्थरों का भंडार है।

कहा जाता है कि रामायण के युद्ध के दौरान लक्ष्मण मेघनाद के वाण से घायल हो गए थे और उन्हें बचाने के लिए उस वक्त संजीवनी बूटी की आवश्यकता थी।

हनुमान हिमालय की कंदराओं में संजीवनी बूटी को तलाशते रहें लेकिन उन्हें कुछ समझ में नहीं आ रहा था।

रहुमाशाला कांडा

अत: समस्या के हल के लिए उन्होंने संपूर्ण पहाड़ को ही ले जाने का फैसला किया और मान्यताओं के अनुसार यही उस पहाड़ का टुकड़ा है।

रहुमाशाला कांडा

यह तो रही धार्मिक मान्यताओं की बात, लेकिन इसके अलावा भी यह स्थान इस वजह से भी मशहूर है क्योंकि यहां से एशिया का सबसे अच्छा सूर्योदय देखा जाता है और इसी के चलते यहां साल भर पर्यटकों का आना जाना लगा ही रहता है। इस पहाड़ से प्रकृति का जो दृश्य देखने को मिलता है वह वाकई में दिल को खुश कर देने वाला होता है।

रहुमाशाला कांडा

Home / Ajab Gajab / यही है वह पहाड़ जिसे उठाकर लाए थे हनुमान जी, आज भी यहां मौजूद है भगवान शिव के पैरों के निशान

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो