
नरेंद्र मोदी और व्लादिमीर पुतिन ने की मुलाकात
रूस (Russia) और यूक्रेन (Ukraine) के बीच ढाई साल से भी ज़्यादा समय से युद्ध चल रहा है। रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) ने यूक्रेन पर कब्ज़ा करने के इरादे से अपनी सेना को यूक्रेन पर हमले का आदेश दिया था और 24 फरवरी, 2022 को इस युद्ध की शुरुआत हुई थी। हालांकि अभी भी पुतिन यूक्रेन पर पूरी तरह से कब्ज़ा नहीं कर सके हैं। हालांकि यूक्रेन के कुछ हिस्सों में रूसी सेना ने डेरा डालकर अपने कब्ज़े में ले लिया है। इस युद्ध की वजह से यूक्रेन को जान-माल का भारी नुकसान उठाना पड़ा है। साथ ही यूक्रेन के कई शहरों में भारी तबाही मच चुकी है। पर लगातार मिल रहे इंटरनेशनल सपोर्ट की वजह से यूक्रेन की सेना डटकर रूस की सेना का सामना कर रही है। यूक्रेन काउंटर-अटैक भी कर रहा है और समय-समय पर रूस में हमले भी कर रहा है। रूस ने भी पिछले दो दिन में यूक्रेन पर दो बड़े हमले किए हैं। लेकिन आज रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने यूक्रेन से से शांति-वार्ता को लेकर एक बड़ा बयान दिया है।
रूस का लक्ष्य डोनबास पर कब्ज़ा
पुतिन ने आज, गुरुवार, 5 सितंबर को रूस-यूक्रेन युद्ध (Russia-Ukraine War) पर बात करते हुए कहा कि रूस का लक्ष्य यूक्रेन के डोनबास (Donbas) इलाके पर कब्ज़ा करना रहा है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि डोनबास यूक्रेन का पूर्वी हिस्सा है, जिसके ज़्यादातर भाग पर रूस ने कब्ज़ा कर लिया है।
कुर्स्क से यूक्रेनी सेना को खदेड़ रही है रूसी सेना
पुतिन ने कुर्स्क (Kursk), जो रूस का शहर है, की स्थिति पर भी बात की। यूक्रेनी सेना ने कुर्स्क में घुसपैठ करते हुए 100 से ज़्यादा बस्तियों पर कब्ज़ा कर लिया था। पुतिन ने आज बताया कि रूसी सेना कुर्स्क से यूक्रेनी सेना को खदेड़ रही है।
भारत, चीन और ब्राज़ील करा सकते हैं शांति-वार्ता
पुतिन ने युद्ध में शांति-वार्ता पर भी बात की। पुतिन ने कहा कि रूस इस युद्ध में शांति-वार्ता के लिए यूक्रेन से बात करने के लिए तैयार है। साथ ही पुतिन ने एक और बड़ी बात भी कह दी। पुतिन ने कहा कि भारत (India), चीन (China) और ब्राज़ील (Brazil) दोनों देशों के बीच शांति-वार्ता के लिए मध्यस्थों की अहम भूमिका निभा सकते हैं। युद्ध की शुरुआत से ही सब कह रहे हैं कि भारत इस युद्ध को रुकवाने में अहम भूमिका निभा सकता है। कुछ समय पीएम नरेंद्र मोदी (Prime MInister Narendra Modi) ने भी रूस और यूक्रेन का दौरा किया था और युद्ध के समाधान के लिए शांति का संदेश दिया था। कुछ दिन पहले पीएम मोदी और पुतिन ने फोन पर बात भी की थी। ऐसे में अब पुतिन का यूक्रेन से बात के लिए तैयार होना न सिर्फ भारत के प्रभाव को दर्शाता है, बल्कि युद्ध-विराम की ओर भी संकेत करता है।
Updated on:
07 Jul 2025 06:24 pm
Published on:
05 Sept 2024 03:24 pm
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