आगरा। सड़कों की दूरी नापने के लिए मुगलकाल में कोस मीनार का निर्माण कराया गया था। इतिहासकार बताते हैं कि शेरशाह सूरी ने कोस मीनार का निर्माण कार्य शुरू कराया। आगरा से दिल्ली तक जाने वाले रास्ते में हर कोस पर ये मीनारें पड़ती है। आज ये कोस मीनार एएसआई की संरक्षित धरोहरों में शामिल हैं। आगरा में सेंट्रल जेल रोड के निकट कोसमीनार स्थित है। बता दें कि हर कोस पर एक मीनार होने से दूरी का अंदाजा लगाना आसान हो जाता है। कोस की दूरी दो मील यानि तीन किलोमीटर होती है। शेरशाह सूरी ने 1505 में शासन किया था। तब कोस मीनार स्थापित कराई गईं थीं। 30 फीट ऊंची यह मीनार ईंटों व चूना पत्थर के साथ बनाई गई थी ताकि दूर से मीनार नजर आए।