
आगरा। ऐसा नहीं है गुरु न बनायें। गुरु बनायें, लेकिन बहुत सोच समझकर। गुरु ऐसा बनायें, जो भगवान से जोड़ता है, नाकि खुद से। उन्होंने कहा कि इंसान को इंसान रहने दें, भगवान न बनायें ये कहना है कथावाचक जया किशोरी का। कोठी मीना बाजार में आयोजित श्रीमद् भागवत कथा के समापन अवसर पर जया किशोरी ने पत्रकारों से बात की।
ये बोलीं जया किशोरी
हाल ही में कुछ मामले सामने आने की वजह से कथावाचकों के प्रति बढ़ते अविश्वास के जवाब में जया किशोरी ने कहा कि एक मछली पूरे तालाब को गंदा कर देती है। गुरु जरूर बनायें, लेकिन 100 बार परख कर बनायें। सभी को गलत न समझें। समय अभी थोड़ा अलग है। हर कोई सुखदेव जैसा गुरु नहीं हो सकता है। एक दो चमत्कार देखकर गुरु न बनायें। इंसान को इंसान रहने दें। उन्होंने कहा कि जब जब हमने इंसान को भगवान की उपाधि दे दी, तब गलत हुआ है। भगवान एक ही है। भगवान से जोड़ने वाले को ही गुरु बनायें, नाकि ऐसा गुरु बनायें, जो आपको खुद से जोड़ता है।
Published on:
24 Sept 2019 05:32 pm
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