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Ajmer Discom: बनेंगे मॉडल जीएसएस, ना बिजली चोरी होगी ना फॉल्ट

काकड़ा जीएसएस की तर्ज पर एक्सईएन को तीन महीने में यह जीएसएस तैयार करने के निर्देश दिए हैं।

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बनेंगे मॉडल जीएसएस, ना बिजली चोरी होगी ना फॉल्ट

बनेंगे मॉडल जीएसएस, ना बिजली चोरी होगी ना फॉल्ट

अजमेर डिस्कॉम (Ajmer Discom) से सम्बद्ध सभी 11 जिलों में पचास मॉडल जीएसएस बनाए जाएंगे। इनसे न बिजली चोरी होगी न फॉल्ट के कारण बत्ती गुल होगी। डिस्कॉम के प्रबंध निदेशक ने काकड़ा जीएसएस की तर्ज पर संबंधित जिलों के एक्सईएन को तीन महीने में यह जीएसएस तैयार करने के निर्देश दिए हैं।

डिस्कॉम के आदर्श जीएसएस के तहत झुंझुनू जिले के बुहाना क्षेत्र के काकड़ा जीएसएस को मॉडल बनाया गया है। पावर हाउस से जुडे पांचों फीडर के सभी 11 गांव ट्रिपिंग फ्री हो गए हैं। इसी तर्ज पर एक्सईएन को जीएसएस (Modal GSS in area)तैयार करने के निर्देश दिए हैं।

यह करना होगा एक्सईएन को

जीएसएस से शत-प्रतिशत राजस्व वसूली

जीरो ट्रिपिंग, जीरो एक्सीडेंटल पॉइंट

-ट्रांसफार्मर पर जीरो ओवरलोडिंग

-कंज्यूमर टैगिंग, इंडेक्सिंग,मोबाइल नंबर अपडेशन

- उपभोक्ताओं के मीटर घर से दूर पोल पर सीलबंद बॉक्स में

-झूलते तारों को ऊंचा करने के लिए लगेंगे पोल

-कैंप लगाकर नए कनेक्शन होंगे जारी

डिस्कॉम को होगा फायदा

एक-एक मॉडल जीएसएस तैयार करने से डिस्कॉम को फायदा होगा। पावर हाउस (power house)से जुडे फीडरों के गांवों में बिजली सप्लाई ( electric supply) में सुधार होगा। शटडाउन और एलटी कट के अलावा बिजली गुल होने की समस्या से निजात मिलेगी। बिजली चोरी-छीजत जैसी समस्याओं से निजात मिलेगी। धीरे-धीरे सभी जीएसएस में इसको लागू किया जाएगा।

काकड़ा जीएसएस की तर्ज पर सभी 11 जिलों में एक-एक मॉडल जीएसएस बनेगा। इसके लिए सभी एक्सईएन को निर्देश दिए गए हैं। इससे बिजली तंत्र में सुधार, छीजत, शटडाउन और एलटी कट जैसी परेशानियां कम होंगी।

एन.एस निर्वाण, प्रबंध निदेशक अजमेर डिस्कॉम