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ग्राउंड रिपोर्ट: ट्रेन शेड्यूल नहीं होने से दौराई स्टेशन का नहीं मिल रहा लाभ

टिंग यार्ड बना दौराई स्टेशन, छह साल में भी शुरू नहीं हुआ प्रमुख ट्रेनों का ठहराव  

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अजमेर

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Amit Kakra

Jan 17, 2023

ग्राउंड रिपोर्ट: ट्रेन शेड्यूल नहीं होने से दौराई स्टेशन का नहीं मिल रहा लाभ

ग्राउंड रिपोर्ट: ट्रेन शेड्यूल नहीं होने से दौराई स्टेशन का नहीं मिल रहा लाभ

अजमेर. विकसित हो रहे शहर में रेलवे द्वारा लोगों की सुविधा के मद्देनजर बनाया गया सेटेलाइट स्टेशन लोगों के लिए उपयोगी साबित नहीं होकर यार्ड सरीखा हो चला है। दौराई सेटेलाइट स्टेशन से ज्यादा ट्रेनों का संचालन नहीं होने से लोगों को भी सुविधा नहीं मिल पा रही। हालांकि प्रतिदिन इस स्टेशन से लंबी दूरी की 10 से ज्यादा ट्रेन गुजरती हैं, लेकिन उनका ठहराव नहीं है।

2016 में हुई थी शुरुआतरेलवे ने ब्यावर रोड-भारतीय खाद्य निगम के सामने वाले क्षेत्र में वर्ष 2016 में दौराई को सेटेलाइट स्टेशन के रूप में तैयार किया था। इसका मकसद अजमेर स्टेशन पर ट्रेनों का दबाव कम करना था। लेकिन यहां गाडि़यों का ठहराव ही नहीं बढ़ा। इसके चलते यह स्टेशन यार्ड सरीखा साबित हो रहा है। यहां सवारी गाडि़यों से ज्यादा शंटिंग के लिए सिग्नल रेड और ग्रीन हो रहे हैं।

प्रमुख ट्रेनों का हॉल्ट नहीं

अजमेर से ब्यावर, मारवाड़, अहमदाबाद की ओर जाने वाली सभी ट्रेनें दौराई स्टेशन से होकर गुजरती हैं। मुंबई-पुणे, कर्नाटक तक अधिकांश ट्रेनें इसी रूट से जाती हैं। लेकिन इनका दौराई पर हॉल्ट नहीं है। इससे दौराई, तबीजी, डुमाडा, सराधना, माखुपुरा, आदर्शनगर, केसरगंज, रामगंज, सुभाष नगर, फकीराखेड़ा, तारागढ़ के लोगों को फायदा नहीं मिल रहा।

मुख्य सड़क पर है स्टेशनदौराई स्टेशन की लोकेशन अच्छी है। यहां से रोडवेज, सिटी बस, टेम्पो आसानी से मिलते हैं। पार्किंग की भी व्यवस्था है। लेकिन ट्रेनों के ठहराव नहीं होने से इसका रेलयात्रियों को समुचित लाभ नहीं मिल पा रहा।

इन क्षेत्रों से सीधा जुड़ाव

रामगंज, सुभाष नगर, अजय नगर, चंद्रवरदाई नगर, तबीजी, जवाहर की नाडी, गोविंद नगर, न्यू गोविंद नगर, राजगढ़, फकीराखेड़ा, सोमलपुर, खानपुरा इसके नजदीक हैं। जिसमें बड़ी शहरी आबादी निवास करती है। वहीं पीसांगन, मांगलियावास, जेठाना जैसे बड़े गांव भी इसकी जद में हैं। ट्रेनों का ठहराव नहीं होने से लोग अजमेर अथवा ब्यावर रेलवे स्टेशन पहुंचते हैं।

रुकती हैं महज चार ट्रेनदौराई स्टेशन पर एक दिन में सिर्फ चार अप-डाउन ट्रेन का ठहराव होता है। आसपास की आबादी के लिहाज से यह ट्रेनें नाकाफी हैं।

इनका कहना है. . .

दौराई से उर्स में स्पेशल ट्रेनों का संचालन करेंगे। यहां सामान्य दिनों में सवारियां कम मिलती हैं। गाडि़यां रोकने का निर्णय जनहित में मांग के आधार पर उच्च स्तर पर लिया जाता है।

विवेक रावत, वरिष्ठ मंडल वाणिज्य प्रबंधक