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फ्री होल्ड पट्टा बना सपना,शहर के हजारों लोग वंचित

बेमानी साबित हो रहा प्रशासन शहरों के संग अभियानभूखंडो पर लोने लेने के चलते बैंको में जमा हैं मूल पट्टे मूल पट्टा सरेंडर करने की बाधा आ रही है सामने

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तालाब में मिले तीन बच्चों के शव

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अजमेर. अपने भूखंड का फ्री होल्ड पट्टा लेना शहर के हजारों लोगों के लिए सपना साबित हो रहा है। ऐसे लोगों के लिए प्रशासन शहरों के संग अभियान के तहत आयोजित शिविर बेमानी साबित हो रहे हैं। इसका बड़ा कारण यह सामने आ रहा है कि अधिकतर लोगों ने अपने भूखंडों पर बैंकों से लोन ले रखा है। इसके लिए भूखंड का मूल पट्टा बैंको के पास रहन के रूप में जमा है। जबकि फ्री होल्ड पट्टा लेने के लिए सबसे बड़ी बाधा पूर्व में पट्टे को समर्पित करने की है। पट्टा बैंक में रहन होने के कारण इसे प्राधिकरण के पक्ष में समर्पित करने में कठिनाई आ रहा है। बैंक मूल पट्टा वापस देने को तैयार नहीं है और प्राधिकरण फोटो कॉपी स्वीकार नहीं कर रहा है। ऐसे में फ्री होल्ड पट्टा कैसे लिया जाए यह यक्ष प्रश्न बना हुआ है। ऐसे में व्यक्ति अब किरायेदार से बदलकर हमेशा के लिए भूखंड मालिक नहीं बन पा रहा है।

यह हैं फ्री होल्ड पट्टे का प्रावधान
भूखंडधारी को 10 वर्ष की एक मुश्त लीज राशि जमा कराने पर फ्री होल्ड का पट्टा जारी किया जा सकता है। इसी प्रकार पूर्व में 8 वर्ष की एक मुश्त लीज राशि जमा कराने पर लीज मुक्ति प्रमाण-पत्र जारी हो जाने की स्थिति में प्रार्थी 2 वर्ष की लीज राशि जमा करवाकर फ्री होल्ड पट्टा प्राप्त कर सकते हैं। इसके लिए पूर्व में जारी पट्टे का समर्पण 4100 रू के स्टाम्प पेपर पर शपथ-पत्र प्रस्तुत करना होगा। इसके उपरांत फ्री होल्ड का पट्टा जारी करने का प्रावधान किया गया है। पूर्व में फ्री होल्ड के लिए आवेदन कर चुके भूखंधारियों द्वारा मूल पट्टे को समर्पण के लिए प्रस्तुत करना होगा। संबंधित शपथ पत्र प्रस्तुत कर फ्री-होल्ड का पट्टा प्राप्त कर सकते है।

यह हैं फ्री होल्ड पट्टे का फायदा
लीज होल्ड के भूखडों में 99 वर्ष बाद भूखंडों का स्वामित्व सरकारी निर्णय पर निर्भर रहेगा जबकि फ्री होल्ड भूखंडो में स्वामित्व भूखण्ड मालिका का ही ताउम्र एवं पीढ़ी दर पीढ़ी भूखंड मालिक का ही रहेगा। अर्थात एक व्यक्ति अब किरायेदार से बदलकर हमेशा के लिए भूखंड मालिक हो जाएगा। निर्माण अवधि विस्तार कृषि भूमि के प्रकरणों में 90 ए की गई है उनमें 7 वर्ष व जिन प्रकरणों में 90 बी की गई है उन प्रकरण में 10 वर्ष कर दी गई है। एक बार फ्री होल्ड पट्टा लेने के बाद बार-बार हस्तान्तरण कराने की आवश्यकता नही है। फ्री होल्ड पर प्रत्येक बेचान पर शहरी जमाबन्दी जो 25 प्रतिशत बढ़ाई जाती थी वो फ्री होल्ड होने के बाद न बढ़ाई जाएगी न ली जाएगी।

पंजीयन 500 रूपए में
भूखंड के भू-विभाजन कितनी बार भी हो प्रत्येक व्यक्ति को उसके स्वामित्व का फ्री होल्ड पट्टा दिया जाएगा। फ्री होल्ड को पंजीयन कराने पर राज्य सरकार द्वारा पंजीयन राशि में छूट दी गई है सिर्फ 500 रूपए में पट्टा पंजीयन किया जा रहा है। यह छूट प्रशासन शहरों के दौरान शिविरों में ही है।

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