
dean committee
अजमेर.
पिछले तीन महीने से परेशानियां झेल रहे महर्षि दयानंद सरस्वती विश्वविद्यालय को कुछ राहत मिलने की उम्मीद है। कुलपति की गैर मौजूदगी से सालाना परीक्षाओं पर संकट मंडराया हुआ है। इसके चलते राजभवन ने डीन कमेटी बनाई है। कमेटी केवल परीक्षात्मक कार्यों का संचालन कर सकेगी।
राजस्थान हाइकोर्ट ने लक्ष्मीनारायण बैरवा की याचिका पर कुलपति प्रो. आर. पी. सिंह के कामकाज पर बीते साल 11 अक्टूबर से रोक लगाई है। कुलपति की गैर मौजूदगी से बीते तीन महीने से विश्वविद्यालय का कामकाज गड़बड़ा चुका है। यहां शैक्षिक, प्रशासनिक और परीक्षात्मक कार्य प्रभावित हैं। सालाना परीक्षाओं के टाइम टेबल, कॉपियां छपवाने, प्रश्न-पत्र निर्माण जैसे अहम कार्य अटके हुए हैं। पिछले दिनों परीक्षा नियंत्रक प्रो. सुब्रतो दत्ता और अन्य अधिकारियों ने राजभवन को इन परेशानियों से अवगत कराया था।
राजभवन ने बनाई कमेटी
राजभवन ने परीक्षात्मक कार्यों पर मंडराए संकट को देखते हुए डीन कमेटी बनाई है। इसमें विश्वविद्यालय के विभिन्न संकाय के डीन शामिल हैं। इसके अलावा कुलसचिव और वित्त नियंत्रक को भी सदस्य बनाया गया है ताकि परीक्षा कार्य में वित्तीय संबंधित परेशानी न हो। मालूम हो कि मौजूदा वक्त विश्वविद्यालय के मैनेजमेंट, कॉमर्स, शिक्षा, कला और ललित कला संकाय के डीन पद रिक्त हैं।
कुलपति बना गए थे कमेटी
कुलपति प्रो. सिंह ने बीते वर्ष अक्टूबर में सामान्य कामकाज के लिए चार डीन की कमेटी बना दी थी। जबकि विधानसभा में पारित महर्षि दयानंद सरस्वती विश्वविद्यालय (संशोधन) विधेयक-2017 में किसी डीन कमेटी गठन का प्रावधान नहीं है। इसमें साफ कहा गया है कि अधिनियम की धारा 19 (10) के तहत किसी विश्वविद्यालय के कुलपति पद की कोई स्थायी रिक्ति, मृत्यु, त्यागपत्र, हटाए जाने, निबंलन के कारण या अन्यथा होने पर उप धारा 9 के तहत कुलाधिपति सरकार से परामर्श कर किसी दूसरे विश्वविद्यालय के स्थायी कुलपति को अतिरिक्त दायित्व सौंपेंगे।
Published on:
30 Jan 2019 10:10 am
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