
Heavy rain : पलभर में फिर गया किसानों की मेहनत पर पानी
मदनगंज-किशनगढ़ (अजमेर).
विदा लेते मानसून में शनिवार को आसमान से बरसा पानी किसानों की मेहनत पर फिर गया। बारिश से कृषि उपज मंडी में काश्तकारों की मेहनत पानी में बह गई। प्लेटफार्म उपलब्ध नहीं होने से मूंग पानी में बह गए। शनिवार दोपहर सवा दो से पौने तीन बजे तक हुई बारिश के चलते कई काश्तकारों का मूंग पानी में बह गया। हालांकि सरकार की ओर से किसानों की फसल रखने के लिए प्लेटफार्म बना रखे हैं, लेकिन प्लेटफार्म पर व्यापारियों की ओर से माल रखने से किसानों को जगह नहीं मिलती है।
किसानों ने जैसे-तैसे बचाई फसल
सड़क पर मूंग रखने के कारण मूंग भीग गए। वहीं काफी मात्रा में पानी में भी बह गए। किसानों ने जैसे-तैसे बोरियों से फसल को ढका और बारिश थमने का इंतजार करते रहे।मूंग बारिश में बहने से किसानों को मात्रा का नुकसान तो हुआ ही। गीले होने से उनका भाव भी कम हो जाता है। इससे किसानों पर दोहरी मार पड़ी है।
पूर्व में जता चुके हैं विरोध
17 सितम्बर में मंडी में हुए विवाद के दौरान किसानों ने प्लेटफॉर्म पर व्यापारियों की ओर से माल रखने का विरोध किया था। लेकिन इसके बाद भी कोई कार्रवाई नहीं हुई।
किसानों ने जताया विरोध
प्लेटफार्म उपलब्ध नहीं होने पर किसानों ने विरोध जताया। उन्होंने मंडी प्रशासन से प्लेटफार्म खाली कराने की मांग की। मांग करने वालो में गणेश नारायण मालपुरा, श्योराम चौधरी बनेवड़ी, बिशनलाल श्रीनगर, श्योनारायण गुर्जर, कल्याण सिंह, गोपीलाल, विश्राम गोदारा सहित कई शामिल है।
किसानों को सुविधा उपलब्ध कराने के लिए हम प्रतिबद्ध है। यदि प्लेटफार्म खाली कराने के लिए कार्रवाई की जाएगी। ताकि किसान प्लेटफॉर्म पर फसल रख सके।
मदन सैनी, सचिव कृषि उपज मंडी
मानसून ने जाते-जाते फिर भिगोया
मदनगंज-किशनगढ़. नगरीय क्षेत्र और आसपास के क्षेत्रों में शनिवार को तेज बरसात हुई। आधा घंटेे तक मूसलाधार बरसात होने के कारण एक बार फिर गुंदोलाव झील की चादर चल गई। कई स्थानों पर पानी भर गया। इससे वाहन चालकों और क्षेत्रवासियों को आवागमन में परेशानी उठानी पड़ी।
वहीं बरसात के बाद मौसम में आए बदलाव से लोगों को गर्मी से राहत मिली। किशनगढ़ में शनिवार दोपहर को मौसम बदलने से तेज बरसात हुई। सुबह से ही बादल छाए हुए थे। दोपहर में मौसम में बदलाव आना शुरू हुआ और हवा चलने के साथ ही बूंदाबांदी शुरू हो गई।
इसके बाद लगभग सवा दो बजे मूसलाधार बरसात शुरू हो गई जो पौने तीन बजे तक चलती रही। आधे घंटे तक तेज बरसात होने के कारण सड़कों पर तेज पानी बह निकला जो बरसात बंद होने तक चलता रहा। इससे कई जगह पानी भर गया तो यातायात भी बाधित हुआ।
पुराने बस स्टैंड परिसर में, रूपनगढ़ रोड आरओबी के पास, सुभाष कॉलोनी, गांधीनगर अमरनाथ छतरी के पास सहित कई स्थानों पर पानी भर गया। इससे लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। वहीं कई बार बिजली कड़कने से भी डर बना रहा।
गुंदोलाव झील की चली चादर
तेज बरसात के बाद पानी गुंदोलाव झील में पहुंचा। इसके चलते एक बाद फिर चादर पर से बहने लग गया। इससे पहले भी गत माह गुंदोलाव झील की चादर चली थी। झील पर चादर चलने की जानकारी मिलने पर क्षेत्रवासी वहां का नजारा देखने पहुंचे।
खुशनुमा हुआ मौसम
बरसात के बाद मौसम खुशनुमा हो गया। पिछले कई दिनों से तेज धूप और गर्मी के कारण लोगों को परेशानी झेलनी पड़ रही थी। बरसात के बाद मौसम में ठंडक आने से लोगों को राहत मिली।
इंसुलेटर पर गिरी बिजली
शनिवार दोपहर मेें हुई बरसात के दौरान शनिवार को सिलोरा स्थित 132 केवी जीएसएस से निकलने वाले 33 केवी फीडर पर बिजली गिरी। इससे करीब 20 इंसुलेटर पंक्चर (जल) हो गए और आसपास की बिजली 4 घंटे तक बंद रही।
विद्युत कर्मियों को सूचना मिलने पर फीडर की जांच की और सभी इंसुलेटर को बदलकर विद्युत आपूर्ति चालू की। बिजली गिरने के कारण वाटर वक्र्स और पुरुषोत्तम नगर की बिजली आपूर्ति बंद रही।
खेतों में फसल को नुकसान
तेज बारिश से किशनगढ़ सहित आसपास के गांवों में कई जगह पानी भर गया। वहीं फसल को नुकसान पहुंचा। खेतों में इन दिनों फसल खड़ी है। कई किसानों ने तो फसल की कटाई कर ली। लेकिन कई क्षेत्रों में फसलों की कटाई अभी बाकी है। तेज बारिश और आंधी के चलते क्षेत्र में मूंग, ज्वार, ग्वार, बाजरा सहित अन्य फसले आढी पड़ गई।
Published on:
22 Sept 2019 03:32 am
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