6 दिसंबर 2025,

शनिवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

राजस्थान चुनाव 2023: त्रिकोणीय मुकाबले में फंसी अजमेर उत्तर विधानसभा सीट, पेयजल मुद्दे पर जंग

Rajasthan Election: पिछले चार विधानसभा चुनाव में भाजपा के कब्जे वाली अजमेर उत्तर विधानसभा सीट इस बार त्रिकोणीय मुकाबले में फंसी नजर आ रही है।

3 min read
Google source verification

अजमेर

image

Nupur Sharma

Nov 16, 2023

rajasthan_election_2023.jpg

,,

चन्द्र प्रकाश जोशी
Rajasthan Assembly Election 2023 : पिछले चार विधानसभा चुनाव में भाजपा के कब्जे वाली अजमेर उत्तर विधानसभा सीट इस बार त्रिकोणीय मुकाबले में फंसी नजर आ रही है। इस सीट पर भाजपा के वासुदेव देवनानी चुनाव मैदान में हैं तो कांग्रेस से महेन्द्र सिंह रलावता उम्मीदवार हैं। भाजपा के बागी निर्दलीय उम्मीदवार ज्ञानचंद सारस्वत ने इस बार नतीजों को लेकर दिलचस्पी पैदा की है।

यह भी पढ़ें : राजस्थान चुनाव 2023: प्रचार से मुद्दे गायब... भाजपा ध्रुवीकरण तो कांग्रेस सॉफ्ट हिंदुत्व के सहारे

भाजपा के टिकट पर पांचवी बार चुनाव लड़ रहे देवनानी को लेकर कुछ कार्यकर्ताओं में इस बार नाराजगी खुलकर सामने आई। ये कार्यकर्ता मन से नहीं लगे हुए हैं। कांग्रेस उम्मीदवार रलावता को टिकट से खुलकर नाराजगी तो नजर नहीं आई लेकिन पिछले एक साल से क्षेत्र में सक्रिय रहे आरटीडीसी चेयरमैन धर्मेन्द्र राठौड़ के समर्थकों की सक्रियता पर नजरें रहेंगी।

बागी मैदान में, पड़ सकता है असर
भाजपा के बागी ज्ञानचंद सारस्वत पार्षद हैं। सारस्वत के साथ चेहरा परिवर्तन की मांग करने वाले कार्यकर्ता और कुछ नेताओं से भीतरघात की आशंका जताई जा रही है। एक अन्य बागी पार्षद कुंदन वैष्णव से भी थोड़ा नुकसान हो सकता है। उधर, कांग्रेस में कोई बागी उम्मीदवार नहीं है।

पिछले विधानसभा चुनाव में कुल वोट मिले
भाजपा : 67881
कांग्रेस : 59251
जीत हार का अंतर : 8630

पिछले लोकसभा चुनाव में कुल वोट मिले
भाजपा : 89306
कांग्रेस : 43253
जीत हार का अंतर : 46053

पार्टी कोई भी मगर समाज विशेष के प्रतिनिधि अगाड़ी
आजादी के बाद से ही विधानसभा चुनाव में इस क्षेत्र में राजनीतिक पार्टियां जरूर बदलीं, मगर इस सीट पर जीतने वाले अधिकांश सिन्धी समाज के प्रतिनिधि रहे हैं। पहले अजमेर पश्चिम नाम से रहा यह क्षेत्र अब अजमेर उत्तर विधानसभा क्षेत्र में बदल गया। पिछले 14 चुनाव में दल भले ही कोई भी रहा हो सिंधी ही यहां चुनाव जीता है।

दोनों दलों में अंदरूनी नाराजगी
भाजपा प्रत्याशी को लगातार पांचवीं बार टिकट देने से कार्यकर्ताओं और बड़े ओहदों पर बैठे लोगों में नाराजगी है। कांग्रेस प्रत्याशी के सामने कोई बागी तो नहीं उतरा है लेकिन सीएम गहलोत बनाम सचिन पायलट की गुटबाजी कायम है। कई कार्यकर्ता रस्म अदायगी कर रहे हैं।

क्षेत्र के प्रमुख तीन मुद्दे
- बीसलपुर परियोजना में अजमेर को हक दिलाना, नियमित पेयजल आपूर्ति
- अवैध खनन एवं अतिक्रमण
- तकनीकी महाविद्यालय और उच्च शिक्षण संस्थान खुलें

प्रत्याशियों के जनता से प्रमुख वादे
- पेयजल समस्या का स्थायी समाधान होगा, 24 घंटे के अंतराल में होगी सप्लाई।
- आरपीएससी के पेपर लीक-स्मार्टसिटी में हुई गड़़बडिय़ों की कराई जाएगी जांच
- अजमेर में रोजगार के अवसर बढ़ाएंगे और नए उद्योग स्थापित करेंगे।

चुनाव प्रचार इस बार कुछ अलग
भाजपा प्रत्याशी देवनानी की सोशल मीडिया टीम उनके प्रचार-प्रसार की पोस्ट सोशल मीडिया पर शेयर कर रही है। वे रूठों को मनाने में जुटे हैं। उधर, कांग्रेस उम्मीदवार रलावता घर-घर जाकर प्रचार रहे हैं। ई-रिक्शा पर प्रचार प्रसार कर रहे हैं। सरकार की गारंटी योजना के रथ घूम रहे हैं।

यह भी पढ़ें : राजस्थान चुनाव 2023: चार चुनावों का रिवाज बदलेगा या फिर पुराना चेहरा ही चमकेगा, पढ़िए पूरी खबर

यह हैं बड़े फैक्टर
1. भाजपा में पिछले चार चुनाव से विधायक रहे वासुदेव देवनानी पांचवीं बार चुनाव मैदान में हैं। टिकट बदलने की मांग पर अमल नहीं होने वालों की मांग पर भाजपा के पार्षद ज्ञान सारस्वत भी बागी होकर चुनाव मैदान में हैं। इससे भाजपा को कुछ नुकसान हो सकता है। सारस्वत लगातार तीन बार से नगर निगम के पार्षद हैं।
2. कांग्रेस में पिछला चुनाव लड़ चुके महेन्द्र सिंह रलावता को इस बार कांग्रेस ने फिर से टिकट दिया है। कांग्रेस में बागियों ने नामांकन वापस ले लिए मगर पिछले डेढ़ साल से सक्रिय रहे आरटीडीसी अध्यक्ष धर्मेन्द्र सिंह राठौड़ के करीबी व उनके समर्थकों का रुख क्या रहेगा? यह बड़ा सवाल है।


बड़ी खबरें

View All

अजमेर

राजस्थान न्यूज़

ट्रेंडिंग