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प्रयागराज के इस विधानसभा सीट पर आज तक नहीं खिला कमल का फूल, इस बार उम्मीद जगी, जाने जातीय समीकरण

locationप्रयागराजPublished: Jan 26, 2022 12:10:15 am

Submitted by:

Sumit Yadav

यूपी विधानसभा चुनाव में भी प्रयागराज की मुख्य भूमिका होती है। यहां पर 12 विधानसभा सीट है सभी का अपना एक इतिहास है। आइए जानते हैं प्रयागराज की करछना विधानसभा सीट के बारे में जहां से आज तक कमल का फूल नहीं खिला है। लेकिन 2022 के इस चुनाव में भाजपा इतिहास बदलने की तैयारी में जुटी है। सपा के गढ़ कहे जाने वाले करछना विधानसभा से भाजपा सेंधमारी कर सकती है।

प्रयागराज के इस विधानसभा सीट पर आज तक नहीं खिला कमल का फूल, इस बार उम्मीद जगी, जाने जातीय समीकरण

प्रयागराज के इस विधानसभा सीट पर आज तक नहीं खिला कमल का फूल, इस बार उम्मीद जगी, जाने जातीय समीकरण

प्रयागराज: धार्मिक, सांस्कृतिक दृष्टिकोण से प्रयागराज धर्म की नगरी कही जाती है। यहां पर गंगा, यमुना और स्वरस्वती का संगम है। जितनी धार्मिक क्षेत्र में प्रयागराज का नाम है, उसी तरह राजनीतिक पटल पर भी केंद्र बिंदु मानी जाती है। इलाहाबाद विश्वविद्यालय से कई छात्र यहां से निकले और राष्ट्रीय स्तर पर राजनीति का पर्चम लहराया।
यूपी विधानसभा चुनाव में भी प्रयागराज की मुख्य भूमिका होती है। यहां पर 12 विधानसभा सीट है सभी का अपना एक इतिहास है। आइए जानते हैं प्रयागराज की करछना विधानसभा सीट के बारे में जहां से आज तक कमल का फूल नहीं खिला है। लेकिन 2022 के इस चुनाव में भाजपा इतिहास बदलने की तैयारी में जुटी है। सपा के गढ़ कहे जाने वाले करछना विधानसभा से भाजपा सेंधमारी कर सकती है।
ये हैं प्रबल दावेदार

प्रयागराज की करछना विधानसभा सीट यमुना पार क्षेत्र की हॉट सीट है। इस सीट पर आज तक भाजपा ने कब्जा नहीं कर पाई है। समाजवादी पार्टी और बसपा ने यहां जीत दर्ज की है। इस सीट पर सबसे अधिक समाजवादी का कब्जा रहा है। 2012 में बसपा से दीपक पटेल ने जीत दर्ज की थी। 2022 में भाजपा दीपक पटेल को भाजपा उम्मीदवार घोषित कर सकती है। अगर ऐसा हुआ तो समाजवादी और भाजपा में सीधे टक्कर होगी। करछना विधानसभा पर समाजवादी नेता रेवती रमण सिंह का वर्चस्व है।
करछना सीट पर 2017 के परिणाम

इस विधानसभा सीट पर समाजवादी पार्टी के नेता उज्ज्वल रमण सिंह को 80 हजार वोट से जीत दर्ज किया था। वहीं दूसरे नंबर पर बीजेपी के पीयूष रंजन निषाद को 65 हजार वोट मिले थे। बीएसपी के दीपक पटेल को 40 हजार वोट ही मिले थे। 2300 से ज्यादा लोगों ने नोटा का बटन दबाया था। रालोद के राजेंद्र सिंह को 1170 वोट ही मिले थे।
करछना सीट पर 2012 के परिणाम

बीएसपी के उम्मीदवार दीपक पटेल ने 68 हजार वोट से जीत दर्ज की थी। वहीं सपा के उज्ज्वल रमण सिंह को 67 हजार वोट मिले थे। निर्दलीय मिशेल इनिस को 11 हजार वोट मिले थे। उस समय बीजेपी चौथे नंबर की पार्टी रही। 8 हजार वोट बीजेपी को 5 फीसदी से भी कम लोगों ने वोट दिया था।
करछना सीट का ये रहा इतिहास

बीजेपी आज तक इस सीट पर नहीं जीती है। सपा और बीएसपी में अक्सर टक्कर होती है। 1993 के बाद 2007 और 2012 में बीएसपी जीती। 1996, 2002 में सपा से रेवती रमण सिंह जीते। उसके बाद रेवती रमण सिंह के बेटे उज्ज्वल दूसरी बार विधायक बने। वर्तमान में भी इस सीट पर समाजवादी पार्टी का कब्जा है।
ये है वोटरों की संख्या

प्रयागराज की करछना विधानसभा सीट पर सबसे ज्यादा करीब 80 हजार पटेल वोटर हैं। 50 हजार मुस्लिम और 50 हजार ब्राह्मण वोटर है। 40 हजार के करीब पिछड़ी जाति के वोटर है। 30 हजार भूमिहार वोटर भी बेहद अहम हैं। इन वोटरों के बीच राजा रेवती रमण सिंह के वर्चस्व कायम है। 2022 में भी समाजवादी और भाजपा में काटें की टक्कर दिखाई दे रही है।

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