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हजारों नौनिहालों को नहीं आता पढऩा-लिखना, जिले के करीब 700 शिक्षकों को मिलेगा नोटिस

मूल्यांकन में सामने आया है कि जिले के ५३७ स्कूलों के बच्चे पढऩे-लिखने के मामले में अपेक्षाकृत कमजोर हैं। इन बच्चों को सी व डी ग्रेड मिली है।

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अलवर

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aniket soni

Oct 11, 2017

700 teachers will get notice in alwar

700 teachers will get notice in alwar

धर्मेन्द्र अदलक्खा. अलवर.

बच्चों की शैक्षणिक नींव को मजबूत करने के लिए शिक्षा विभाग की ओर से तमाम कवायदें करने के बावजूद जमीनी हालात में ज्यादा सुधार नहीं हो पाया है। हालात यह है कि आज भी प्रारम्भिक स्तर के कई बच्चों को ढंग से पढऩा-लिखना तक नहीं आता। इसका खुलासा इस बार हुई पांचवीं बोर्ड परीक्षा के मूल्यांकन में हुआ है। मूल्यांकन में सामने आया है कि जिले के ५३७ स्कूलों के बच्चे पढऩे-लिखने के मामले में अपेक्षाकृत कमजोर हैं। इन बच्चों को सी व डी ग्रेड मिली है।

डाइट ने जिले के 700 ऐसे शिक्षकों की पहचान की है जो पांचवीं कक्षा को पढ़ा रहे थे और उनका परीक्षा परिणाम सी और डी ग्रेड रहा है। डाइट ने इसकी रिपोर्ट शिक्षा विभाग मुख्यालय को भेज दी है। जानकारों के मुताबिक एेसे शिक्षकों को नोटिस दिए जाएंगे। डाइट प्राचार्य श्वेत सिंह मेहता ने बताया कि ऐसे विद्यार्थियों की संख्या रैणी ब्लॉक में सबसे अधिक है। इनमें 20 स्कूल तो प्राइवेट हैं जिनके विद्यार्थी सी और डी ग्रेड में आए हैं।

इस बारे में डाइट की वरिष्ठ व्याख्याता योगमाया सैनी का कहना है कि सबसे अधिक सी और डी ग्रेड गणित और अंग्रेजी में आए हैं। गणित विषय में 73 प्रतिशत विद्यार्थी सी ग्रेड तथा 47 प्रतिशत विद्यार्थी डी श्रेणी में आए हंैं। इसी प्रकार अंगे्रेजी में 85 प्रतिशत विद्यार्थी डी श्रेणी में आए हैं। इनका कहना है कि पांचवीं कक्षा में पढ़ाई का स्तर सुधारने के लिए शिक्षकों को विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा।

पांचवीं बोर्ड में परीक्षा देने वाले विद्यार्थी - 38 हजार 131
ए प्लस ग्रे्रड में आने वाले विद्यार्थी - 1852
ए ग्रेड में आने वाले विद्यार्थी - 24 हजार 110
बी ग्रेड में आने वाले विद्यार्थी - 10 हजार 573
सी ग्रेड में आने वाले विद्यार्थी - 1536
डी ग्रेड में आने वाले विद्यार्थी - 60
कम परीक्षा परिणाम के लिए जिम्मेवार शिक्षक -700

लोन एवं मानिटरिंग समन्वय के वेब पोर्टल का लोकार्पण आज
सरकार के माध्यम से प्रायोजित विभिन्न योजनाओं की बेहतर मॉनिटरिंग एवं समन्वय के लिए जिला प्रशासन के निर्देशन में सूचना प्रौद्योगिकी और संचार विभाग द्वारा तैयार किए गए वेब पॉर्टल का लोकार्पण बुधवार को सुबह 11 बजे एमआईए हॉल में किया। सूचना प्रौद्योगिकी और संचार विभाग के एसीपी (उपनिदेशक) ने बताया कि डिजीटल इण्डिया के अन्तर्गत जिले में ई-गर्वेनेंस को बढ़ावा देने के लिए सरकार की ओर से प्रायोजित एससीडीस, एनयूएलएम, एनआरएलएम, महिला विकास केवीआईबी, पीएमईजीपी आदि योजनाओं के अन्तर्गत मिलने वाले लोन एवं उसकी बेहतर मॉनिटंिरंग समन्वय के लिए सॉफ्टवेयर विकसित किया गया है। उन्होंने बताया कि राज्य में प्रथम बार अलवर जिले में ऐसे सॉफ्टवेयर की शुरूआत की जा रही है।