करवा चौथ व्रत शुक्रवार को श्रद्धा और आस्था के साथ मनाया जाएगा। अलवर जिले के सकट स्थित प्राचीन चौथ माता मंदिर में सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और अखंड सौभाग्य की कामना के लिए पूजा-अर्चना करेंगी।
करवा चौथ व्रत शुक्रवार को श्रद्धा और आस्था के साथ मनाया जाएगा। अलवर जिले के सकट स्थित प्राचीन चौथ माता मंदिर में सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और अखंड सौभाग्य की कामना के लिए पूजा-अर्चना करेंगी। मंदिर के पुजारी मुकेश पाराशर ने बताया कि करवा चौथ को लेकर तैयारियों को अंतिम रूप दिया जा रहा है।
इतिहास के अनुसार मंदिर का निर्माण सैकड़ों वर्ष पूर्व मान सिंह प्रथम ने करवाया था। यहां विवाह के समय परंपरा के अनुसार 7 में से 4 फेरे चौथ माता को समर्पित किए जाते हैं। हर वर्ष वैशाख माह की बड़ी चौथ पर मंदिर में दो दिवसीय मेला भी आयोजित होता है। इस दिन माता की विशेष पूजा, रात्रि जागरण और धार्मिक कार्यक्रमों का आयोजन होता है।
बुजुर्ग लोग बताते हैं कि चौथ माता ने जयपुर महाराज मानसिंह को स्वप्न में दर्शन देकर इस स्थान पर सकट चौथ माता का मंदिर बनाने व सकट गांव बसाने की बात कही। राजा ने माता का आदेश पाकर ऐसा ही किया। उन्होंने यहां शुभ मुहूर्त में सकट चौथ माता मंदिर की नींव रखकर मंदिर निर्माण कराने के साथ ही सकट गांव बसाया।
सकट गांव में स्थित चौथ माता मंदिर जन-जन की आस्था का केंद्र है। यहां दूरदराज के क्षेत्र से भी बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचते हैं। मंदिर परिसर में करवा चौथ के दिन मेले जैसा माहौल रहता है।