BMO removed: सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र उदयपुर का निरीक्षण करने पहुंचे थे संयुक्त संचालक, कई कर्मचारी भी ड्यूटी से थे गायब, सभी को जारी किया कारण बताओ नोटिस
अंबिकापुर। स्वास्थ्य विभाग के संभागीय संयुक्त संचालक ने शुक्रवार को उदयपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान बीएमओ समेत कई कर्मचारी ड्यूटी से नदारद मिले। इस पर उन्होंने बीएमओ के खिलाफ एक्शन लेते हुए उन्हें प्रभार से हटा (BMO removed) दिया है। जबकि अनुपस्थित कर्मचारियों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। संयुक्त संचालक का कहना है कि बीएमओ को लेकर लगातार शिकायतें मिल रही थीं। पहले भी उन्हें नोटिस जारी करने के बाद भी काम करने के तरीके में सुधार नहीं आया, इस वजह से कार्रवाई की गई।
उदयपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में पदस्थ बीएमओ डॉ. योगेंद्र पैंकरा (BMO removed) को स्वास्थ्य विभाग सरगुजा संभाग के संयुक्त संचालक डॉ. अनिल शुक्ला ने पद से हटा दिया है। उनकी जगह डॉ. संजीव कुमार तिग्गा को बीएमओ का प्रभार सौंपा गया है। दरअसल बीएमओ और अस्पताल संचालन में लापरवाही को लेकर लगातार उन्हें शिकायतें मिल रहीं थी।
मरीजों के परिजन से लेकर कर्मचारी संघ तक ने शिकायत की थी कि इमरजेंसी में पहुंचे मरीजों को भी समय पर उपचार नहीं मिल पाता है। लगातार मिल रही शिकायतों के बाद संयुक्त संचालक (BMO removed) शुक्रवार की शाम करीब साढ़े 4 बजे उदयपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे।
यहां जांच में उन्होंने पाया कि बीएमओ व अस्पताल संचालन के संबंध में की गईं सभी शिकायतें सहीं हैं। कई कर्मचारी भी अनुपस्थित मिले, जिन्हें नोटिस जारी किया गया है।
संयुक्त संचालक के निरीक्षण (BMO removed) में ओपीडी सेवाओं का संचालन समय अनुसार नहीं किया जाना पाया गया। लैब एवं दवा वितरण सेवाएं बंद मिली। अस्पताल में सुरक्षा गार्ड भी नहीं था। अस्पताल के कर्मचारी निर्धारित ड्रेस में नहीं मिले। उन्होंने ओपीडी रजिस्टर की जांच की तो व्यवस्थित नहीं मिला।
हाजिरी रजिस्टर की जांच में 10 से 11 अधिकारी-कर्मचारी बिना सूचना के अनाधिकृत रूप से अनुपस्थित पाए गए। बड़ी बात यह रही कि बीएमओ डॉ. योगेंद्र पैकरा भी अनुपस्थित थे, जिन पर स्वास्थ्य केन्द्र के सुव्यस्थित संचालन का पूरा दारोमदार था।
संभागीय संयुक्त संचालक डॉ. अनिल शुक्ला ने बताया कि उदयपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र एनएच पर स्थित है। दुर्घटना में घायलों को वहां लाया जाता है, लेकिन ये शिकायतें मिलती थीं कि समय पर उन्हें उपचार नहीं मिल पाता है। मरीजों के परिजन, कर्मचारी संघ व थाने की ओर से भी शिकायतें मिली थीं। जांच में शिकायतें सहीं मिलीं।
बीएमओ (BMO removed) को पूर्व में भी नोटिस जारी किया गया था, लेकिन व्यवस्था में सुधार नहीं आया। इस वजह से बीएमओ को हटाया गया है। उन्हें नोटिस भी जारी किया गया है। यदि नोटिस का संतोषजनक जवाब नहीं मिलता है तो नियमत: आगे की कार्रवाई की जाएगी।