वित्त विभाग ने दिए जांच व वसूली के निर्देश, दोषियों पर होगी अनुशासनात्मक कार्रवाई
राज्य सरकार के आईएफएमएस 3.0 (इंटीग्रेटेड फाइनेंशियल मैनेजमेंट सिस्टम) पर उपलब्ध वेतन भुगतान डेटा की जांच में बड़ा खुलासा हुआ है। जांच के दौरान पाया गया कि कुछ कार्मिकों को अनियमित रूप से अधिक वेतन, एनपीए, एचआरए, एचडीए और डीए जैसे भत्तों का भुगतान किया गया है।
वित्त विभाग ने इस मामले में गंभीरता दिखाते हुए सभी विभागाध्यक्षों को निर्देश जारी किए हैं कि वे वेतन भुगतान की नियमित जांच कर अनियमित भुगतान की अविलंब वसूली सुनिश्चित करें।
महालेखाकार ने जताई अनियमित हार्ड ड्यूटी भत्ते पर आपत्ति
महालेखाकार कार्यालय की ओर से भी वित्त विभाग को इस मामले में अनियमित हार्ड ड्यूटी भत्ते के भुगतान की जानकारी दी गई है। इस पर विभाग ने संबंधित कार्यालयाध्यक्षों और आहरण-वितरण अधिकारियों की व्यक्तिगत जिम्मेदारी तय करते हुए कहा है कि भविष्य में ऐसी स्थिति न बने, इसके लिए डेटा का सत्यापन (वेरिफिकेशन) और अद्यतन (अपडेशन) नियमित रूप से किया जाए।
आईएफएमएस 2.0 से 3.0 में माइग्रेशन के बाद डेटा गड़बड़ी
वित्त विभाग के अनुसार आईएफएमएस 2.0 से 3.0 में डेटा माइग्रेशन के बाद कई कार्मिकों के मास्टर डेटा में त्रुटियां पाई गई हैं। नए सिस्टम में संवर्ग, सेवा श्रेणी, उप-सेवा श्रेणी और पदनाम की जानकारी के लिए वेलिडेशन लागू किया गया, लेकिन पुराने डेटा में यह विवरण अनुपलब्ध या गलत दर्ज होने से वेलिडेशन प्रक्रिया प्रभावित हुई। इसी कारण कई खातों में गलत भुगतान की स्थिति बनी।
आहरण एवं वितरण अधिकारी होंगे जवाबदेह
वित्त विभाग ने स्पष्ट किया है कि वेतन भुगतान डेटा, बैंक खातों और आईएफएससी कोड की शुद्धता सुनिश्चित करना संबंधित आहरण एवं वितरण अधिकारी की जिम्मेदारी है। इन अधिकारियों को यह सुनिश्चित करना होगा कि प्रत्येक कार्मिक की जानकारी आईएफएमएस 3.0 सिस्टम पर सही और अद्यतन हो। जिन अधिकारियों ने यह कार्य नहीं किया है, उनसे जवाब तलब किया जाएगा।