भोपाल

वर्दी और दागदार, साइबर ठगों से ऐशबाग पुलिस की सांठगांठ

ऐशबाग थाना और सीनियर अफसरों की कार्रवाई, एफआइआर और फिर आरोपी एएसआइ और घूस देने वाले अंशुल जैन को छोड़ने व लापता होने की कड़ी सवालों में है। यह लोकायुक्त को हैंडओवर करने के लिए मुफीद है।

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Mar 07, 2025
Aishbagh police in cahoots with cyber thugs

MP News : कॉल सेंटर की आड़ में देशभर के लोगों से निवेश के नाम पर साइबर ठगी करने वालों से सांठगांठ करने वाली ऐशबाग पुलिस(Aishbagh police) ने पूरे पुलिस महकमे को दागदार कर दिया है। ऐशबाग पुलिस ने कॉल सेंटर संचालक अफजल खान के साले मुबीन को बचाने के लिए 25 लाख की डील की। फिर बुधवार को घूस की दूसरी किस्त ₹5 लाख लेते एएसआइ पवन रघुवंशी को एडीपीसी रश्मि अग्रवाल की टीम ने दबोचा।

घूस देने वाला टीकमगढ़ का भाजपा पार्षद अंशुल जैन भी धराया। पुलिस ने दोनों को पहले छोड़ा, फिर टीआइ जितेंद्र गढ़वाल, एएसआइ मनोज कुमार, पवन, प्रधान आरक्षक धर्मेंद्र सिंह और अंशुल पर केस दर्ज किया। फिर गुरुवार को एएसआइ रघुवंशी को पकड़ने पुलिस पहुंची तो वह गायब था। अंशुल भी गायब है। अब उनकी तलाश के दावे हो रहे हैं। इधर, जांच अधिकारी एसीपी सुरभि मीणा को केस से हटा जांच एसीपी निहित उपाध्याय को दी है।

लोकायुक्त के लिए मुफीद यह केस

मामले को भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत जांच के लिए लोकायुक्त में दिए जाने की बात सामने आ रही है। ऐशबाग थाना और सीनियर अफसरों की कार्रवाई, एफआइआर और फिर आरोपी एएसआइ और घूस देने वाले अंशुल जैन को छोड़ने व लापता होने की कड़ी सवालों में है। यह लोकायुक्त को हैंडओवर करने के लिए मुफीद है।-पवन रघुवंशी, एएसआइ

अंशुल की तबीयत खराब हो रही थी, इसलिए छोड़ा। एसीपी सुरभि मीणा के क्षेत्र में मामला आया, इसलिए उन्हें हटाया है। ताकि निष्पक्ष जांच हो। हरिनारायणचारी मिश्र, पुलिस कमिश्नर

अब नया दावा...सभी पुलिसकर्मियों की होगी गिरफ्तारी

टीआइ, दोनों एएसआइ और प्रधान आरक्षक पर भ्रष्टाचार अधिनियम की धाराओं में केस दर्ज किया गया है। रिश्वत की धारा लगी तो 10 साल से ज्यादा की सजा होगी। रिकवरी भी की जाएगी। ऐसे में अफसर सभी आरोपी पुलिसकर्मियों की गिरफ्तार तय बता रहे हैं। सभी की संपत्तियों की भी जांच होगी।

ये सुलगते सवाल

● अंशुल बीमार था तो छोड़ा, फिर कहां गायब हो गया?

● एएसआइ पवन विभाग का ही नुमाइंदा, गंभीर मामले में धराया, तब क्यों छोड़ा?

● ऐशबाग थाना एसीपी सुरभि मीणा के कार्यक्षेत्र में, टीआइ एएसआइ ठगों से सौदा कर रहे थे, तब कैसे पता नहीं चला? मीणा से जांच क्यों छीनी?

Published on:
07 Mar 2025 09:06 am
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