Stock Market News: यूनियन बैंक ऑफ इंडिया के शेयर ने इस साल अब तक अपने निवेशकों को 23.68 फीसदी का अच्छा-खासा रिटर्न दिया है। यह शेयर आज बीएसई पर 150.90 रुपये पर बंद हुआ है।
पब्लिक सेक्टर (PSUs) बैंकों ने पिछले कुछ वक्त में अपने निवेशकों को अच्छा-खास रिटर्न दिया है और लगातार सुर्खियों में बने हुए हैं। इस समय दो सरकारी बैंकों की सबसे ज्यादा चर्चा है। जब से यह खबर सामने आई है कि मोदी सरकार यूनियन बैंक ऑफ इंडिया (UBI) और बैंक ऑफ इंडिया (BOI) का विलय करने की तैयारी में है, तब से दोनों ही बैंकों के शेयर मजबूती से आगे बढ़ रहे हैं। यदि इन बैंकों का मर्जर होता है, तो यह एसबीआई के बाद देश का दूसरा सबसे बड़ा PSU बैंक बन जाएगा।
रिपोर्ट्स की मानें तो केंद्र सरकार मर्जर-2 शुरू करने की तैयारी में है। पहले राउंड में कई बैंकों का मर्जर हुआ था। उस समय यूनियन बैंक ऑफ इंडिया में आंध्रा और कॉर्पोरेशन बैंक का विलय किया गया था। अब यदि बैंक ऑफ इंडिया भी यूनियन बैंक का हिस्सा बनता है, तो बैंक काफी मजबूत स्थिति में पहुंच जाएगा। यही वजह है कि दोनों बैंकों के शेयर तेजी के साथ आगे बढ़ रहे हैं। पिछले 5 कारोबारी सत्रों में यूनियन बैंक ऑफ इंडिया का शेयर साढ़े तीन प्रतिशत से अधिक की उछाल हासिल कर चुका है। जबकि बैंक ऑफ इंडिया में 1 से अधिक की तेजी आई है।
यूनियन बैंक ऑफ इंडिया का शेयर अपने निवेशकों को इस साल अब तक (YTD) 23.68% का शानदार रिटर्न दे चुका है। जबकि बीते 1 महीने में यह आंकड़ा 10.09% रहा है। इसी तरह, बैंक ऑफ इंडिया का शेयर इस साल अब तक 38.65% चढ़ा है और पिछले 1 महीने में इसने निवेशकों को 13.37% का रिटर्न दिया है। खबर लिखे जाने तक यूनियन बैंक का शेयर 151.27 रुपए और बैंक ऑफ इंडिया का 142.31 रुपए के भाव पर कारोबार कर रहा था।
इन दोनों बैंकों के मर्जर को लेकर अब तक कोई आधिकारिक बयान सामने नहीं आया है। सरकार की तरफ से ऐलान के बाद इनके शेयरों में और तेजी देखने को मिल सकती है। बैंकों की वित्तीय सेहत की बात करें, तो यूनियन बैंक ऑफ इंडिया के दूसरी तिमाही (Q2) के नतीजे मिले-जुले रहे हैं। सितंबर तिमाही में सालाना आधार पर बैंक का मुनाफा 10% और नेट इंटरेस्ट इनकम (NII) 2.6% नीचे आई है। वहीं, बैंक ऑफ इंडिया के नेट प्रॉफ़िट में सालाना आधार पर 8% का उछाल देखने को मिला है। हालांकि, NII में मामूली गिरावट भी आई है।
शेयर मार्केट एक्सपर्ट अभिषेक शुक्ला का कहना है कि आमतौर पर इस तरह की रैली के बाद कुछ गिरावट देखने को मिलती है। हालांकि, ये दोनों ही बैंक अच्छे हैं और इनके एकदम से धड़ाम होने की आशंका नहीं है। ऐसे में लंबे समय के लिए इनमें निवेश किया जा सकता है। उनका कहना है कि यदि आप वेल्थ क्रिएशन के लिए इन स्टॉक्स में निवेश करते हैं, तो लक्ष्य लॉन्ग टर्म का होना चाहिए। साथ ही अगर आपके पास पहले से ही इन बैंकों के शेयर हैं, तो उन्हें होल्ड भी किया जा सकता है।
अभिषेक शुक्ला के अनुसार, आमतौर पर जब इस तरह की खबरें सामने आती हैं, तो सामान्य निवेशक फियर ऑफ मिसिंग आउट (FOMO) की भावना के चलते मार्केट में पैसा लगा देता है, जो बिल्कुल भी सही नहीं है। निवेश हमेशा सोच-समझकर और फाइनेंशियल एडवाइजर की सलाह के आधार पर करना चाहिए। सकारात्मक खबरों के बाद शेयर तुरंत ऊपर भागते हैं और एक रैली के बाद नीचे भी आते हैं, वही निवेश का सही समय होता है। इसलिए हड़बड़ाहट में निवेश से बचें।
(डिस्क्लेमर: यह आर्टिकल सिर्फ जानकारी मात्र है। यह निवेश की सलाह नहीं है। शेयर बाजार में निवेश जोखिमभरा होता है। कहीं भी पैसा लगाने से पहले अपने निवेश सलाहकार से परामर्श लें।)